दिल्ली-एनसीआर में सांस लेना मुश्किल हो गया है. प्रदूषण की वजह से घुटन, आंखों में जलन और खुजली जैसी समस्याएं लोगों को परेशान कर रही हैं. ऐसे में बहुत सारे लोग इस जहरीली हवा से खुद को बचाने के लिए एयर प्यूरिफायर भी खरीद रहे हैं, ताकि घरों के अंदर जान बच सके और शुद्ध सांस ली जा सके. क्या आप भी एयर प्यूरिफायर खरीदने का प्लान बना रहे हैं या सोच रहे हैं कि इसे लगाने से कितना ही फायदा होगा? तो आइए एयर प्यूरिफायर को लेकर जानते हैं डब्ल्यूएचओ से जुड़े एक्सपर्ट की राय…
वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गनाइजेशन (WHO) टेक्निकल एडवाइजरी ग्रुप ऑन ग्लोबल एयर पॉल्यूशन एंड ग्लोबल हेल्थ के सदस्य और दिल्ली के जाने माने पल्मोनरी एक्सपर्ट डॉ. गोपीचंद खिलनानी का कहना है भारत में प्रदूषण से बचने के लिए पहले से ही दफ्तरों और कंपनियों में बड़े-बड़े एयर प्यूरिफायर लगाए जा रहे हैं, लेकिन अब घरों में भी इन्हें लगाने का चलन तेज हुआ है. गर्मी में एयर कंडीशनर्स की तरह ही सितंबर-अक्टूबर आते ही एयर प्यूरिफायर भी अब जरूरत बन गए हैं.
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कितना कारगर एयर प्यूरिफायर
एयर प्यूरिफायर लगाने से हवा की शुद्धता पर कितना असर पड़ता है या यह वास्तव में एयर क्वालिटी इंडेक्स को एकदम शुद्ध करने का काम करता है, इसका कोई वैज्ञानिक प्रमाण नहीं है लेकिन इसकी टैक्नोलॉजी को लेकर दावे हैं और इस पर लगा मॉनिटर इंडिकेट भी करता रहता है कि कुछ समय चलाने के बाद ही उस कमरे का एक्यूआई 200 से सीधे 50 या उससे नीचे आ गया, तो यह निश्चित ही उस कमरे की हवा को प्यूरिफाई तो करता ही है और यह मन को शांति भी देता है.
दूसरी बात यह बिल्कुल एयर कंडीशनर की तरह काम करता है, जितना बड़ा कमरा होगा, उतना ही ज्यादा क्षमता वाला एयर प्यूरिफायर लेना होगा, जैसे बड़े कमरे के लिए ज्यादा टन की क्षमता वाला एसी लेते हैं. लिहाजा हवा प्यूरिफाई होना इस पर भी निर्भर करता है.
कितने घंटे चलाएं एयर प्यूरिफायर
डॉ. जीसी खिलनानी कहते हैं कि अक्सर लोग एक या दो घंटे एयर प्यूरिफायर चलाते हैं और समझते हैं कि अब हवा शुद्ध हो गई और बंद कर देते हैं. या फिर जब कमरे में जाते हैं तो चलाते हैं और निकलते ही बंद कर देते हैं जैसे एसी या पंखे को बंद करते हैं. जबकि ऐसा नहीं करना चाहिए. एयर प्यूरिफायर को 24 घंटे चालू रखना जरूरी है. ऐसा न करें कि जब आप कमरे में जाएं तभी आप उसे ऑन करें. उसे ऑन करके ही रखें, तभी आपको इसका बेहतर परिणाम मिलेगा.
एयर प्यूरिफायर में कितनी देर रहना है जरूरी
अगर घर में एयर प्यूरिफायर लगा है तो उसमें दिन रात रहना ही है. इस दौरान घर के दरवाजे और खिड़कियां पूरी तरह बंद रखें. अगर बाहर से जरा भी प्रदूषण आएगा तो इस प्यूरिफायर का फायदा नहीं मिलेगा. वहीं अगर किसी काम से बाहर जाना पड़ रहा है तो एन-95 मास्क लगाकर जाएं. हालांकि मास्क से भी प्रदूषण से 100 फीसदी प्रोटेक्शन नहीं मिलता. प्रदूषण में तो एक मिनट के लिए भी रहना सुरक्षित नहीं है.
ध्यान रखें ये 3 चीजें
. डॉ. खिलनानी बताते हैं कि जो लोग बुजुर्ग हैं, अस्थमा या हार्ट की बीमारी से पीड़ित हैं, या अन्य किसी परेशानी से जूझ रहे हैं तो ऐसे लोगों के लिए एयर प्यूरिफायर कुछ हद तक लाभदायक है. हालांकि ये तभी है, जब वे इसमें ज्यादा से ज्यादा समय तक रहें.
. अगर आप एयर प्यूरिफायर चला रहे हैं तो हर खिड़की, हर दरवाजा बंद रहना चाहिए. ऐसा न हो कि कभी खिड़कियां खोल दीं और कभी बंद कर दीं. इससे प्रदूषित हवा का आवागमन आपके घर में बना ही रहेगा और प्यूरिफायर का कोई फायदा नहीं होगा.
. जो लोग कहते हैं कि उन्हें घुटन होती है, बिना खिड़की खोले नींद नहीं आती, ऐसे लोगों के लिए एयर प्यूरिफायर का कोई काम नहीं है. वे इसे न ही लगाएं.
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Tags: Air pollution, Air Pollution AQI Level, Air pollution delhi, WHO Guideline
FIRST PUBLISHED :
October 23, 2024, 14:34 IST