अमेरिका पिछले कुछ हफ्तों से आसपास के समुद्री इलाकों में नावों की जानकारी मिलते ही मिसाइल से उड़ा दे रहा है. कथित ड्रग तस्करी वाली इन नौकाओं के खिलाफ यूएस मिलिट्री ने अभियान छेड़ रखा है. खुफिया इनपुट मिलते ही अमेरिकी सेना ड्रोन भेजकर हेलफायर मिसाइल दाग देती है. खास बात यह है कि अमेरिका को इसमें से ज्यादातर खुफिया जानकारी ब्रिटेन दे रहा है. अमेरिका के धड़ाधड़ नावों को उड़ाने से ब्रिटेन गुस्सा गया है. अब उसने कहा है कि वह अमेरिका को ऐसी खुफिया जानकारी देगा ही नहीं.
सीएनएन की रिपोर्ट के मुताबिक ब्रिटेन अब कैरेबियन में संदिग्ध मादक पदार्थों की तस्करी करने वाले जहाजों के बारे में अमेरिका के साथ खुफिया जानकारी साझा नहीं कर रहा है. ब्रिटेन इस तरह से नावों और जहाजों पर मिसाइल मारने को अवैध मान रहा है. ऐसे में उसने कहा है कि अमेरिकी सैन्य हमलों में शामिल नहीं होना चाहता.
आमतौर पर ब्रिटेन अमेरिका की हां में हां मिलता रहा है. यह फैसला पार्टनर के तौर पर एक अहम बदलाव को भी दिखाता है. साथ ही यह फैसला लैटिन अमेरिका में अमेरिकी सेना के ऑपरेशन की वैधता पर बढ़ते संदेह को भी दिखाता है.
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