India Nepal Border Dispute: 'बातचीत से सुलझाएंगे सीमा विवाद', जयशंकर की घुड़की से रास्ते पर आ गया नेपाल

1 week ago

India Nepal Border Issue: भारत के साथ सीमा विवाद को हवा देने वाले नेपाल के होश आखिरकार ठिकाने आ गए हैं. कुछ दिन पहले ही नेपाल ने ऐसे करेंसी नोट जारी किए थे जिनमें विवादित इलाकों को दिखाया गया था. नेपाल ने 100 रुपये के नए नोट पर छपे मैप में लिपुलेख, कालापानी और लिम्पियाधुरा को अपनी सीमा में दिखाया था. भारत के मुताबिक, ये तीनों इलाके उसके हैं. भारत ने नेपाल के इस कदम पर कड़ी प्रतिक्रिया दी. विदेश मंत्री एस जयशंकर ने दो टूक कहा कि नेपाल के इस कदम से हालात नहीं बदलेंगे, न ही जमीन पर सच्चाई बदल जाएगी. अब नेपाल के डिप्टी पीएम और विदेश मंत्री नारायण काजी श्रेष्ठ ने सफाई दी है. उनके मुताबिक, काठमांडू बातचीत और कूटनीतिक रास्तों के जरिए विवाद सुलझाने के पक्ष में है. श्रेष्ठ ने सोमवार को काठमांडू में कहा, 'हम भारत के साथ सीमा विवाद को सुलझाना चाहते हैं.' उन्होंने कहा, 'हम इसे कूटनीतिक माध्यमों और बातचीत के जरिए सुलझाना चाहते हैं. हम इसके लिए पहल कर रहे हैं.'

नेपाल की उकसाने वाले कदम पर जयशंकर की प्रतिक्रिया शनिवार को आई. उन्होंने बिना लाग-लपेट के कहा, 'हमारी स्थिति बहुत स्पष्ट है. नेपाल के साथ हम एक स्थापित मंच के माध्यम से अपने सीमा मामलों पर चर्चा कर रहे हैं. इस बीच, उन्होंने एकतरफा तरीके से अपनी ओर से कुछ कदम उठाए.'

भारत-नेपाल सीमा विवाद: काठमांडू ने क्यों दी हवा?

नेपाल ने पिछले दिनों 100 रुपये के नए नोट छापे. उन पर एक मैप भी उकेरा गया है जिसमें लिपुलेख, कालापानी और लिम्पियाधुरा को नेपाल में दिखाया गया है. इकॉनमिक टाइम्स ने सूत्रों के हवाले से लिखा कि नेपाल ने ऐसा राजनीतिक अवसरवाद के चलते किया. नए मैप के साथ नया नोट जारी करने की खबर कैबिनेट में कुछ लोगों को ही थी. सूत्रों ने दावा किया कि फैसले से पहले पर्याप्त राय-मशवरा नहीं किया गया था. सूत्रों ने फैसले की टाइमिंग पर भी सवाल उठाए क्योंकि भारत में आम चुनाव चल रहे हैं और सीमा विवाद पर बातचीत भी जारी है.

भारत-नेपाल सीमा विवाद

नेपाल की सीमा भारत के सिक्किम, पश्चिम बंगाल, बिहार, यूपी और उत्तराखंड से लगती है. दोनों देशों के बीच करीब 1,850 किलोमीटर से ज्यादा लंबा बॉर्डर है. मुख्य विवाद लिपुलेख, कालापानी और लिम्पियाधुरा को लेकर है. नेपाल इन पर दावा करता है. वह 1816 में हुई सुगौली संधि का हवाला देता है. कालापानी सीमा विवाद भी एक पेचीदा मुद्दा है.

Read Full Article at Source