अभी नहीं टला खतरा, देश में छिपा है 300KG विस्फोटक, एक्टिव मोड में स्लीपर सेल!

1 hour ago

Last Updated:November 12, 2025, 13:24 IST

अभी नहीं टला खतरा, देश में छिपा है 300KG विस्फोटक, एक्टिव मोड में स्लीपर सेल!डॉ. शाहीना गिरफ्तार हो चुकी है जबकि डॉ. उमर को दिल्ली ब्लास्ट को अंजाम देने वाला माना जा रहा है.

Delhi Car Blast: दिल्ली में लाल किला मेट्रो स्टेशन के पास सोमवार शाम में हुए भयानक विस्फोट की जांच में जुटी देश की टॉप एजेंसियों के सामने एक बड़ी चुनौती है[. जांच एजेंसी के सूत्रों के मुताबिक इस वक्त की सबसे बड़ी चुनौती यह है कि बचे हुए 300 किलोग्राम अमोनियम नाइट्रेट को बरामद करना है, जिनके कब्जे में ये विस्फोटक है उन तक पहुंचना होगा. सूत्रों की माने तो एजेंसियां अलग-अलग स्रोत से 2900 किलोग्राम विस्फोटक अब तक बरामद कर चुकी हैं लेकिन अभी भी अलग-अलग जगहों पर 300 किलोग्राम अमोनियम नाइट्रेट छिपा हुआ है.

इसको लेकर पूरे देश के कई हिस्सों में जो रेड चल रही है उसमें एक बड़ा एजेंडा यह भी है. गिरफ्तार आतंकवादियों तक ये विस्फोटक बांग्लादेश के रास्ते नेपाल और फिर भारत में आया था, किसी फर्टिलाइजर कंपनी से उक्त अमोनियम नाइट्रेट को चोरी से हासिल किया गया है. सूत्र बता रहे हैं कि आतंकवादियों ने देश में कुल 3200 किलोग्राम की खेप लाई है. इस कारण नेपाल से भारत से पूरे रूट को अलर्ट किया गया है.

अयोध्या-काशी निशाने पर

गिरफ्तार आतंकवादियों के मॉड्यूल में उत्तर प्रदेश के मंदिर और धार्मिक स्थल टार्गेट पर थे. खास तौर पर अयोध्या और वाराणसी उनके निशाने पर थे. अयोध्या में भी आतंकी विस्फोट करना चाहते थे, इसके लिए गिरफ्तार हो चुकी डॉक्टर शाहीना ने अयोध्या के स्लीपर मॉड्यूल को एक्टिवेट भी कर रखा था. डॉक्टर शाहीना भी फरीदाबाद टेरर मॉड्यूल का हिस्सा है. वह लखनऊ की रहने वाली है. अयोध्या में इस सारे घटनाक्रम को अंजाम तक पहुंचाते से पहले ये बड़ा घटनाक्रम हुआ.

जम्मू-कश्मीर पुलिस की छापेमारी में फरीदाबाद टेरर मॉड्यूल का भंडाफोड़ हुआ. विस्फोटक बरामद हुए. सूत्र बताते हैं कि डॉक्टर टेरर मॉड्यूल की योजना लाल किला मेट्रो स्टेशन के पास ब्लास्ट करने की नहीं थी. ऐसा अभी तक की जांच में लग रहा है. क्योंकि विस्फोटक में टाइमर या किसी दूसरी चीज का इस्तेमाल नहीं किया गया. हड़बड़ी और जल्दबाजी में यह ब्लास्ट हुआ. आतंकवादियों से पूछताछ में पता चला है कि ये मॉड्यूल अस्पतालों को टारगेट करना चाहता था. ताकि ज्यादा से ज्यादा लोगों को नुकसान हो.

संतोष कुमार

न्यूज18 हिंदी में बतौर एसोसिएट एडिटर कार्यरत. मीडिया में करीब दो दशक का अनुभव. दैनिक भास्कर, दैनिक जागरण, आईएएनएस, बीबीसी, अमर उजाला, जी समूह सहित कई अन्य संस्थानों में कार्य करने का मौका मिला. माखनलाल यूनिवर्स...और पढ़ें

न्यूज18 हिंदी में बतौर एसोसिएट एडिटर कार्यरत. मीडिया में करीब दो दशक का अनुभव. दैनिक भास्कर, दैनिक जागरण, आईएएनएस, बीबीसी, अमर उजाला, जी समूह सहित कई अन्य संस्थानों में कार्य करने का मौका मिला. माखनलाल यूनिवर्स...

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First Published :

November 12, 2025, 13:24 IST

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