कुत्‍ता प्रेमी... LK में उठा डॉग के काटने का मुद्दा, सांसद बोले-आतंक का माहौल

1 month ago

नई द‍िल्‍ली. कुत्‍तों के काटने के मामलों या क‍िस्‍सों के बारे में आपने कई बार अखबारों या गली के कोने में बनी चाय की दुकान में सुने होंगे. लेक‍िन मंगलवार को यह मामला संसद में उठाया गया. गाज‍ियाबाद से बीजेपी सांसद अतुल गर्ग ने यह मामला उठाया. बीजेपी सांसद ने कहा क‍ि एक सवाल के जवाब में संसद में बताया गया है क‍ि देशभर में साढ़े 30 लाख लोगों को कुत्‍तों ने काटा है. उसमें 286 लोगों की मौत हुई है. अगर ये आंकड़ा ठीक है तो मेरे गाज‍ियाबाद में एक साल में 35 हजार लोग कुत्‍ते के काटने का श‍िकार हुए हैं. छोटे-छोटे बच्‍चे इसके सबसे ज्‍यादा श‍िकार हो रहे हैं.

सांसद ने लोकसभा में एक अखबार में खबर छपी र‍िपोर्ट का हवाला देते हुए कहा क‍ि गाज‍ियाबाद में एक बच्‍चे का कान कुत्‍ते ने काट ल‍िया. चार द‍िन पहले एक खबर आई थी क‍ि रेबीज के चलते एक बच्‍चे की दर्दनाक मौत हुई. अगर कुत्‍ता पालतू हो और वो क‍िसी को काट ले तो इसके ल‍िए उसका माल‍िक ज‍िम्‍मेदार होता है. प्राइवेट कुत्‍ता गंदगी करे तो इसके ल‍िए भी कोई ज‍िम्‍मदार होता है. पर कोई आवारा कुत्‍ता काट ले तो इसके ल‍िए काटने वाले शख्‍स के सामने काई कुत्‍ता प्रेमी नहीं आता है और उसे बचाने के ल‍िए नहीं आता है.

शहर में डर का माहौल

बीजेपी एमी अतुल गर्ग ने कहा क‍ि आपसे न‍िवेदन है क‍ि पहले भी संसद के अंदर और सुप्रीम कोर्ट के अंदर बहुत सारे मामलों पर पुनर्व‍िचार हुआ है. ऐसे न‍ियम बनाए गए है क‍ि कुत्‍ते की नसबंदी की गई है तो उसे फ‍िर से वहीं छोड़ना होता है. मेरे शहर के बच्‍चे खेल नहीं सकते हैं और लोग घूम नहीं सकते हैं. एक आतंक का वातावरण शहर में बना हुआ है और भी जगह बना हुआ होगा.

क्‍यों बढ़ रहे हैं कुत्‍तों के काटने के मामले?

सांसद ने कहा क‍ि अध्‍यक्ष महोदय आपसे न‍िवेदन है क‍ि इस पर दोबारा से कमेटी बनाकर दोबारा व‍िचार होना चाह‍िए. जो यह कह रहे हैं क‍ि एबीसी कार्य अच्‍छा चल रहा है. मैं उनसे पूछना चाहता हूं क‍ि कुत्‍तों काटने और उनसे मरने वाले लोगों की संख्‍या बढ़ क्‍यों रही है?

उन्‍होंने कहा क‍ि इन न‍ियमों में पशु प्रेमी और मानव की स्‍वतंत्रता के बीच में कोई न कोई असंतुलन है. सरकार हो और कोई भी कोर्ट हो मानवता को प्राथम‍िकता म‍िलनी चाह‍िए. आपसे न‍िवेदन है क‍ि इस व‍िषय पर एक कमेटी ना दें.

Tags: Dog attack, Loksabha Speaker, Parliament session

FIRST PUBLISHED :

August 6, 2024, 13:15 IST

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