नई दिल्ली. दिल्ली के मौलाना आजाद मेडिकल कॉलेज में रविवार को एक और छात्र ने सुसाइड कर लिया. सुसाइड करने वाले छात्र का नाम डॉ. नवदीप सिंह है. छात्र की आत्महत्या के कारणों का अभी तक पता नहीं चल सका है. यह छात्र पोस्ट ग्रेजुएशन की पढ़ाई कर रहा था. दिल्ली पुलिस मामले की जांच शुरू कर दी है. पिछले 20 दिनों के अंदर इस कॉलेज में सुसाइड की यह दूसरी घटना है. बीते 27 अगस्त को भी फर्स्ट ईयर पीजी के एक छात्र ने सुसाइड कर ली थी. सुसाइड करने वाला छात्र माइक्रोबाइलोजी डिपार्टमेंट में पढ़ाई करता था. ऐसे में सवाल उठता है कि देश के बड़े कॉलेजों में से एक इस कॉलेज के मेडिकल छात्र क्यों सुसाइड कर रहे हैं? आत्महत्या की वजह वर्क लोड या फिर छात्र ड्रग एडिक्टेड हो गए हैं?
एक और मेडिकल स्टूडेंट ने की सुसाइड
इसी साल फरवरी महीने में मौलाना आजाद मेडिकल कॉलेज में पढ़ने वाली एमबीबीएस की अंतिम वर्ष की छात्रा पूजा ओखाड़ ने भी होस्टल के कमरे में पंखे से लटक कर खुदकुशी कर ली थी. पूजा के कमरे से कोई सुसाइड नोट बरामद नहीं हुआ था. रविवार को एक बार फिर से 25 साल के एमडी द्वितीय वर्ष का छात्र नवदीप की सुसाइड ने कई सवालों को जन्म दे दिया है.
रेजिडेंट डॉक्टरों के मुताबिक नवदीप एमएएमसी से एमबीबीएस किया और एक बहुत ही प्रतिभाशाली छात्र था और एनईईटी यूजी परीक्षा में अखिल भारतीय रैंक 1 पर था. रविवार को दरवाजा तोड़ने पर दोस्त को नवदीप का शव बरामद किया. इस कॉलेज में पिछले एक साल में आत्महत्या से कई मौतें सामने आई हैं और अब इस पर ध्यान देने की जरूरत है.
मौलाना आजाद मेडिकल कॉलेज की डीन प्रोफेसर डॉ पूनम पसरिचा नारंग न्यूज 18 हिंदी के साथ बातचीत में कहती हैं, ‘देखिए, हमारे कॉलेज में रविवार को एक होनहार छात्र ने सुसाइड कर लिया. अगर मेंटल स्ट्रेस की बात है तो पीजी स्टूडेंट्स पर इतना प्रेशर भी नहीं होता है. इसलिए कह नहीं सकते हैं कि एकडेमिक प्रेशर की वजह से छात्र ने सुसाइड किया है या फिर कुछ और वजह है. जहां तक ड्रग्स लेने की बात है इस लड़के में अभी तक पता नहीं चला है.’
क्या कहते हैं कॉलेज के डीन
डॉ पसरिचा आगे कहती हैं, ‘छात्रों से बात कर रहे हैं. मैंने एलजी सर से मिलकर कैंपस के खुले गेट को लेकर बात की है. हमलोग छात्रों को साइक्रेटिक काउंसिलिंग कराने पर भी विचार कर रहे हैं. कोशिश करेंगे कि मेडिकल छात्रों के बीच मानसिक स्वास्थ्य संबंधी चुनौतियों और आत्महत्याओं से जुड़ी जटिलताओं को दूर करें.’
आपको बता दें कि मौलाना आजाद मेडिकल कॉलेज से एलएनजीपी, गुरु नानक और जीबी पंत अस्पताल जुड़े हुए हैं. इन अस्पतालों में तकरीबन 1800 मेडिकल स्टूडेंट्स ड्यूटी करते हैं. मेडिकल स्टूडेंट्स की मानें तो इन अस्पतालों में सुविधाओं का घोर अभाव है. साथ ही एलएनजेपी जैसे अस्पतालों में हाल के दिनों में भ्रष्टाचार के कई मामले सामने आए हैं.
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FIRST PUBLISHED :
September 16, 2024, 19:26 IST