Last Updated:October 20, 2025, 12:11 IST
MBBS Seats in Medical Colleges: भारतीय मेडिकल कॉलेज में एडमिशन की तैयारी कर रहे स्टूडेंट्स के लिए खुशखबरी है. नए मेडिकल कॉलेज खुलने से एमबीबीएस की सीटें भी बढ़ गई हैं, जिससे एडमिशन ले पाना आसान हो जाएगा.

नई दिल्ली (MBBS Seats in Medical Colleges). भारत में मेडिकल शिक्षा के क्षेत्र में ऐतिहासिक क्रांति आई है. हालिया आंकड़ों के अनुसार, देशभर में अंडरग्रेजुएट मेडिकल कोर्स यानी एमबीबीएस की सीटों की संख्या बढ़कर 1,37,600 हो गई है. यह आंकड़ा न सिर्फ मेडिकल प्रवेश परीक्षा नीट की तैयारी कर रहे लाखों स्टूडेंट्स के लिए बड़ी राहत लेकर आया है, बल्कि देश के हेल्थ सर्विस सेक्टर के लिए भी मील का पत्थर साबित होगा. इससे डॉक्टरी की पढ़ाई कर पाना सुलभ होगा.
पिछले 10 सालों में, भारत ने मेडिकल कॉलेजों की संख्या और उनमें उपलब्ध सीटों की संख्या में काफी विस्तार देखा है. केंद्र सरकार ने कई योजनाएं और नीतियां शुरू की हैं, जिनका लक्ष्य ‘हर जिले में एक मेडिकल कॉलेज’ स्थापित करना है. मेडिकल सीटों की संख्या का 1.37 लाख के पार जाना बड़ी बात है. यह वृद्धि उन लाखों प्रतिभाशाली छात्रों को अवसर प्रदान करेगी, जो सीमित सीटों के कारण अपने सपनों को पूरा करने से वंचित रह जाते थे. इससे भारत ग्लोबल हेल्थ सर्विस सेक्टर में मजबूत ताकत के रूप में उभरेगा.
भारत में एमबीबीएस की कितनी सीटें हैं?
कुल 1,37,600 एमबीबीएस सीटों में सरकारी और निजी, दोनों क्षेत्रों का बड़ा योगदान शामिल है:
सरकारी मेडिकल कॉलेज: सरकारी कॉलेजों में एमबीबीएस की कुल सीटों की संख्या 73,300 तक हो गई है. ज्यादातर स्टूडेंट्स सरकारी मेडिकल कॉलेज में एडमिशन का लक्ष्य रखते हैं. दरअसल, इनकी फीस कम और वैल्यू ज्यादा होती है.
निजी मेडिकल कॉलेज: निजी संस्थानों में उपलब्ध एमबीबीएस सीटों की संख्या 64,300 है. निजी मेडिकल कॉलेज में सीटों की इतनी संख्या होने से कॉम्पिटीशन का लेवल बंट जाता है. स्टूडेंट्स कोटा या लोन का फायदा उठाकर इनमें एडमिशन लेते हैं.
एमबीबीएस की सबसे ज्यादा सीटें किस राज्य में बढ़ी हैं?
सीटों की संख्या में यह वृद्धि पूरे देश में केंद्रित होने के बजाय, कुछ राज्यों में खास तौर पर प्रभावी नजर आ रही है. नीचे टेबल में आप लिस्ट देख सकते हैं-
राज्य | एमबीबीएस की कुल सीटें |
तमिल नाडु | 11,825 |
कर्नाटक | 11,695 |
उत्तर प्रदेश | 11,250 |
महाराष्ट्र | 10,695 |
ये प्रमुख राज्य मिलकर देश की कुल मेडिकल सीटों का एक बड़ा हिस्सा प्रदान करते हैं. हालांकि, सरकार अब देश के अन्य हिस्सों में भी कॉलेजों का विस्तार कर रही है. इससे क्षेत्रीय असमानता को कम किया जा सकेगा.
मेडिकल सीटें बढ़ने के फायदे
एमबीबीएस सीटों की संख्या में इस बढ़त के कई पॉजिटिव परिणाम होंगे, जो देश की स्वास्थ्य सेवा प्रणाली को नया आयाम देंगे:
डॉक्टरों की उपलब्धता में सुधार: इससे देश के डॉक्टर-जनसंख्या अनुपात (Doctor-Patient Ratio) को विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) द्वारा निर्धारित 1:1000 के मानक के करीब लाने में मदद मिलेगी. ग्रामीण क्षेत्रों को लाभ: ज्यादा संख्या में डॉक्टर बनने से ग्रामीण और अर्ध-शहरी क्षेत्रों में मेडिकल सेवाओं का विस्तार किया जा सकेगा. शिक्षा की पहुंच: यह छात्रों को उनके गृह राज्य के करीब मेडिकल कॉलेजों में एडमिशन पाने का अवसर देगा, जिससे उन्हें पढ़ाई के लिए दूर नहीं जाना पड़ेगा.With over more than 10 years of experience in journalism, I currently specialize in covering education and civil services. From interviewing IAS, IPS, IRS officers to exploring the evolving landscape of academi...और पढ़ें
With over more than 10 years of experience in journalism, I currently specialize in covering education and civil services. From interviewing IAS, IPS, IRS officers to exploring the evolving landscape of academi...
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First Published :
October 20, 2025, 12:11 IST