Last Updated:March 18, 2025, 11:18 IST
EAM S Jaishankar: विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने रायसीना डायलॉग में पश्चिमी देशों की दोहरी नीति पर कड़ा प्रहार किया. उन्होंने कश्मीर और अफगानिस्तान मुद्दों पर पश्चिमी देशों के पाखंडपूर्ण रवैये की आलोचना की.

एस जयशंकर ने रायसीना डायलॉग में पश्चिम की दोहरी नीति पर निशाना साधा.
हाइलाइट्स
जयशंकर ने पश्चिमी देशों की दोहरी नीति की आलोचना की.कश्मीर और अफगानिस्तान मुद्दों पर पाखंडपूर्ण रवैया बताया.तालिबान पर पश्चिमी देशों के असंगत रवैये की भी आलोचना की.नई दिल्ली: भारत के विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने वेस्ट यानी पश्चिमी देशों को फिर सुनाया है. रायसीना डायलॉग में विदेश मंत्री एस जयशंकर अंतर्राष्ट्रीय व्यवस्था स्थापित करने की आवश्यकता पर दिया. साथ ही पश्चिमी देशों की दोहरी नीति पर फिर कड़ा प्रहार किया. उन्होंने कहा कि जिस तरह सरकारें अपने देश में व्यवस्था बनाए रखने के लिए काम करती हैं, उसी तरह वैश्विक स्तर पर भी ऐसा होना चाहिए. जयशंकर ने खासतौर पर ग्लोबल साउथ (विकासशील देशों) से जुड़े मामलों में पश्चिम देशों की पाखंडपूर्ण नीति का उदाहरण देते हुए बताया कि कैसे पाकिस्तान की ओर से भारत की जमीन पर किए गए आक्रमण अथवा घुसपैठ को पश्चिमी देशों ने एक क्षेत्रीय विवाद में बदल दिया.
कश्मीर मुद्दे पर पश्चिमी देशों के रुख पर जयशंकर ने आपत्ति जताई. उन्होंने कहा कि भारत के जम्मू-कश्मीर और लद्दाख में सबसे लंबे समय से एक विदेशी ताकत का अवैध कब्जा है. 1947 में भारत की आजादी के दो महीने बाद ही पाकिस्तान ने आक्रमण करके जम्मू-कश्मीर और लद्दाख के कुछ हिस्सों पर कब्जा कर लिया था. वहीं, चीन ने 1950 और 1960 के दशक में इस इलाके पर कब्जा जमाया.
जयशंकर की नजर में कौन-कौन गुनहगार
अफगानिस्तान के उथल-पुथल भरे राजनीतिक परिदृश्य में पश्चिमी देशों के सुविधानुसार बदलते रवैये पर भी उन्होंने बात की. पिछले कुछ दशकों में तालिबान का उत्थान, पतन और फिर से उत्थान इसी का नतीजा है. जयशंकर ने कश्मीर पर पाकिस्तान के आक्रमण को आक्रामकता से कूटनीतिक विवाद में बदलने के लिए पश्चिमी देशों की भूमिका पर जोर दिया. उन्होंने कहा, ‘हम एक आक्रमण को लेकर संयुक्त राष्ट्र गए थे. इसे विवाद में बदल दिया गया… हमलावर और पीड़ित को बराबर खड़ा कर दिया गया. दोषी पक्ष कौन थे? ऑस्ट्रेलिया, कनाडा, बेल्जियम, ब्रिटेन और अमेरिका.’
कश्मीर मसले पर कैसे वेस्ट को धोया
पाकिस्तान ने पश्चिमी देशों का नाम लेकर कश्मीर मसले पर सबको अच्छे से धोया. विदेश मंत्री एस जयशंकर ने अंतरराष्ट्रीय कूटनीति में पाखंड की ओर इशारा करते हुए कहा कि ऑस्ट्रेलिया, कनाडा, बेल्जियम, ब्रिटेन और अमेरिका जैसे देश इस गलत बयानी में शामिल थे. उन्होंने याद दिलाया कि कैसे संयुक्त राष्ट्र में भारत की अपील पर भी दोष समान रूप से मढ़ा गया था. जबकि असली हमलावर तो पाकिस्तान था.
तालिबान मसले पर भी ली चुटकी
अफगानिस्तान पर टिप्पणी करते हुए जयशंकर ने पश्चिमी देशों के असंगत रवैये की भी आलोचना की. उन्होंने उस विरोधाभासी स्थिति की ओर ध्यान दिलाया, जहां दोहा और ओस्लो प्रक्रियाओं में उन्हीं तालिबान नेताओं का स्वागत किया गया था, जिनकी अब अफगानिस्तान की बिगड़ती स्थिति के लिए निंदा की जा रही है. उन्होंने चुटकी लेते हुए कहा कि कैसे तालिबान, जिन्हें कभी चरमपंथी माना जाता था, अब सूट-टाई में हैं. फिर भी उन्हें एक गंभीर अंतरराष्ट्रीय चिंता के रूप में देखा जाता है. जयशंकर की टिप्पणी ने वैश्विक राजनीति में चल रहे अंतर्विरोधों की ओर ध्यान दिलाया, जहां राष्ट्र अक्सर अनसुलझे मुद्दों पर एक कूटनीतिक चोला पहनते हैं.
Location :
Delhi,Delhi,Delhi
First Published :
March 18, 2025, 11:18 IST
कश्मीर पर पाक का हमला तो हम दोषी कैसे? UK-US और... जयशंकर ने सबको खूब रगड़ा