Last Updated:December 24, 2025, 21:52 IST
IAS Anu Garg: ओडिशा सरकार ने 1991 बैच की आईएएस अधिकारी अनु गर्ग को नया मुख्य सचिव नियुक्त किया है. वह इस पद पर पहुंचने वाली राज्य की पहली महिला हैं. वह मौजूदा मुख्य सचिव मनोज आहूजा की जगह लेंगी जो 31 दिसंबर को रिटायर हो रहे हैं. अनु गर्ग का कार्यकाल मार्च 2029 तक रहेगा. यूपी की रहने वाली अनु गर्ग फिलहाल विकास आयुक्त थीं.
आईएएस अधिकारी अनु गर्ग (Photo : X/_anugarg)भुवनेश्वर: ओडिशा के प्रशासनिक इतिहास में बुधवार का दिन सुनहरे अक्षरों में दर्ज हो गया है. राज्य को अपनी पहली महिला मुख्य सचिव (Chief Secretary) मिल गई हैं. 1991 बैच की तेजतर्रार आईएएस अधिकारी अनु गर्ग अब राज्य की सबसे बड़ी अफसर होंगी. सरकार ने उनकी नियुक्ति का आदेश जारी कर दिया है. यह फैसला महिला सशक्तिकरण की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा है. अब तक ओडिशा की टॉप ब्यूरोक्रेसी में पुरुषों का ही दबदबा था. लेकिन अनु गर्ग ने इस परंपरा को तोड़ दिया है. वह 1 जनवरी से अपना कार्यभार संभालेंगी. मौजूदा मुख्य सचिव मनोज आहूजा 31 दिसंबर को रिटायर हो रहे हैं.
आखिर कौन हैं अनु गर्ग जिनके हाथ में होगी पूरे राज्य की कमान?
अनु गर्ग मूल रूप से उत्तर प्रदेश की रहने वाली हैं. उन्होंने सोशियोलॉजी में मास्टर्स की डिग्री हासिल की है. भारतीय प्रशासनिक सेवा में उनका करियर 30 साल से भी ज्यादा लंबा रहा है. फिलहाल वह विकास आयुक्त (Development Commissioner) के पद पर तैनात थीं. इसके साथ ही वह योजना और कन्वर्जेंस विभाग की सचिव भी थीं. उनके पास जल संसाधन विभाग का अतिरिक्त प्रभार भी था. अनु गर्ग को एक कुशल प्रशासक माना जाता है. उन्होंने ओडिशा के विकास में अहम भूमिका निभाई है. खास तौर पर जल संसाधन और प्लानिंग के क्षेत्र में उनका काम सराहनीय रहा है. अब वह राज्य की सबसे ऊंची कुर्सी पर बैठकर फैसले लेंगी.क्या 2029 तक हिल नहीं पाएगी उनकी कुर्सी?
अनु गर्ग की नियुक्ति सिर्फ एक बदलाव नहीं है बल्कि यह सरकार की लंबी प्लानिंग का हिस्सा है. वह मार्च 2029 में रिटायर होंगी. इसका मतलब है कि उनके पास काम करने के लिए लंबा वक्त है. मनोज आहूजा सिर्फ एक साल तक इस पद पर रहे. लेकिन अनु गर्ग के पास करीब 4 साल का समय है. यह राज्य सरकार के लिए फायदेमंद होगा. सरकार नए साल में कई बड़े विकास कार्यक्रम और बजट पहल लागू करने जा रही है. ऐसे समय में एक स्थाई और अनुभवी मुख्य सचिव का होना बहुत जरूरी है. अनु गर्ग की लंबी पारी से प्रशासन में स्थिरता आएगी और योजनाओं को लागू करने में आसानी होगी.आईएएस अधिकारी अनु गर्ग (Photo : X/_anugarg)
पुरुषों के वर्चस्व वाले सिस्टम में कैसे बनाई अपनी जगह?
ओडिशा में 1972 में नंदिनी सत्पथी मुख्यमंत्री बनी थीं. लेकिन ब्यूरोक्रेसी यानी अफसरशाही में हमेशा पुरुषों का राज रहा. मुख्य सचिव के पद पर आज तक कोई महिला नहीं पहुंची थी. अनु गर्ग ने इससे पहले भी एक रिकॉर्ड बनाया था. वह राज्य की पहली महिला विकास आयुक्त बनी थीं. यह पद मुख्य सचिव के बाद दूसरा सबसे बड़ा पद माना जाता है.
उन्होंने पहले ‘ग्लास सीलिंग’ को तोड़ा और अब सबसे ऊंची दीवार को भी गिरा दिया है. उनकी यह उपलब्धि महिला अफसरों के लिए प्रेरणा का स्रोत बनेगी. सामान्य प्रशासन और लोक शिकायत विभाग ने उनकी नियुक्ति की अधिसूचना जारी कर दी है.
क्या होती है मुख्य सचिव की पावर?
मुख्य सचिव (Chief Secretary) राज्य का सबसे वरिष्ठ आईएएस अधिकारी होता है. वह मुख्यमंत्री का मुख्य सलाहकार होता है. राज्य के सभी प्रशासनिक विभागों पर उसका कंट्रोल होता है. कैबिनेट की बैठकों में वह सचिव के रूप में भाग लेता है. आसान भाषा में कहें तो मुख्यमंत्री राजनीतिक फैसले लेते हैं लेकिन उन्हें लागू करवाने की जिम्मेदारी मुख्य सचिव की होती है. पुलिस महानिदेशक (DGP) भी प्रशासन के मामलों में मुख्य सचिव को रिपोर्ट करते हैं.
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दीपक वर्मा (Deepak Verma) एक पत्रकार हैं जो मुख्य रूप से विज्ञान, राजनीति, भारत के आंतरिक घटनाक्रमों और समसामयिक विषयों से जुडी विस्तृत रिपोर्ट्स लिखते हैं. वह News18 हिंदी के डिजिटल न्यूजरूम में डिप्टी न्यूज़...और पढ़ें
Location :
Bhubaneswar,Khordha,Odisha
First Published :
December 24, 2025, 21:52 IST

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