क्या BA के बाद MBA कर सकते हैं? करियर में कैसे मिलेगा फायदा?

5 hours ago

नई दिल्ली (MBA After BA, BA Ke Baad MBA). आर्ट्स विषयों में रुचि रखने वाले और सिविल सर्विस परीक्षा की तैयारी करने वाले ज्यादातर उम्मीदवार 12वीं के बाद बीए कोर्स में एडमिशन लेते हैं. बीए यानी बैचलर ऑफ आर्ट्स के बाद एमए और एमबीए (मास्टर ऑफ बिजनेस एडमिनिस्ट्रेशन) जैसे कोर्सेस में एडमिशन ले सकते हैं. देश-विदेश में एमबीए की डिग्री काफी पॉपुलर है. कई स्टूडेंट्स समझते हैं कि एमबीए में एडमिशन के लिए कॉमर्स बैकग्राउंड होना जरूरी है, जबकि ऐसी कोई अनिवार्यता नहीं है.

बीए की पढ़ाई (खास तौर पर अगर अर्थशास्त्र, साहित्य या इतिहास जैसे विषय लिए हों तो) एनालिटिकल थिंकिंग और कम्युनिकेशन स्किल्स विकसित करती है. एमबीए के मैनेजमेंट और लीडरशिप ट्रेनिंग प्रोग्राम के साथ ये दोनों फैक्टर्स मिल जाएं तो कॉर्पोरेट जगत में नौकरी के भरपूर मौके मिलते हैं. एमबीए कोर्स न केवल हाई सैलरी और ग्लोबल करियर की संभावनाएं प्रदान करता है, बल्कि बीए ग्रेजुएट्स को मार्केटिंग, फाइनेंस और ह्यूमन रिसोर्स जैसे क्षेत्रों में विशेषज्ञता हासिल करने का मौका भी देता है.

एमबीए में एडमिशन कैसे मिलेगा?

एमबीए के लिए CAT, XAT या GMAT जैसी प्रवेश परीक्षाएं पास करना जरूरी है. आईआईएम, XLRI और एफएमएस जैसे टॉप संस्थानों में एडमिशन के लिए इन परीक्षाओं में टॉप स्कोर होना चाहिए. बीए ग्रेजुएट्स की कम्युनिकेशन और एनालिटिकल स्किल्स ग्रुप डिस्कशन और इंटरव्यू में काफी काम आती हैं. एमबीए की डिग्री नेटवर्किंग, Entrepreneurship और लीडरशिप के अवसर प्रदान करती है. सही प्लानिंग और तैयारी करें तो एमबीए की डिग्री लेकर आप करियर में अच्छी ग्रोथ हासिल कर सकते हैं.

बीए के बाद एमबीए क्यों करें?

बीए के बाद एमबीए करने के कई फायदे हैं. इससे करियर को एक नई दिशा मिलती है.

करियर में डायवर्सिटी: बीए (इतिहास, साहित्य, अर्थशास्त्र जैसे विषय) ह्यूमैनिटीज और सोशल साइंस में गहरी समझ प्रदान करता है. यह डिग्री एमबीए के साथ मैनेजमेंट, मार्केटिंग और ह्यूमन रिसोर्सेस जैसे क्षेत्रों में अवसर प्रदान करता है.

हाई सैलरी की संभावना: एमबीए करके कॉर्पोरेट क्षेत्र में उच्च वेतन (औसतन 8-20 लाख रुपये प्रति वर्ष) वाली नौकरी हासिल कर सकते हैं. साथ ही करियर में अच्छी ग्रोथ भी मिलती है.

लीडरशिप स्किल: एमबीए प्रोग्राम लीडरशिप, निर्णय लेने और स्ट्रैटेजिक थिंकिंग जैसी स्किल्स डेवलप करता है, जो बीए की एनालिटिकल स्किल्स के साथ मिलकर प्रभावी बनता है.

ग्लोबल अवसर: एमबीए डिग्री को ग्लोबल स्तर पर मान्यता प्राप्त है. इससे विदेश में नौकरी और उद्यमिता के अवसर मिलते हैं.

नेटवर्किंग: एमबीए प्रोग्राम इंडस्ट्री एक्सपर्ट और क्लासमेट्स के साथ नेटवर्किंग के अवसर देता है. करियर में ग्रोथ के लिए नेटवर्किंग करना बहुत जरूरी है.

1. योग्यता और पात्रता
शैक्षिक योग्यता: किसी मान्यता प्राप्त यूनिवर्सिटी से बीए डिग्री (न्यूनतम 50% अंक, SC/ST के लिए 45%).
प्रवेश परीक्षा: ज्यादातर एमबीए प्रोग्राम में एडमिशन के लिए निम्नलिखित परीक्षाएं देनी होती हैं:
CAT (Common Admission Test): IIM और अन्य टॉप संस्थानों के लिए.
XAT, SNAP, NMAT, CMAT: विभिन्न निजी और सरकारी संस्थानों के लिए.
GMAT: अंतरराष्ट्रीय या कुछ भारतीय संस्थानों के लिए.

2. प्रवेश परीक्षा की तैयारी कैसे करें?
सिलेबस: क्वांटिटेटिव एप्टीट्यूड, वर्बल एबिलिटी, डेटा इंटरप्रिटेशन और लॉजिकल रीजनिंग.
कोचिंग या सेल्फ स्टडी: TIME, IMS जैसे संस्थानों से कोचिंग या ऑनलाइन रिसोर्सेस से तैयारी करें.
मॉक टेस्ट: नियमित मॉक टेस्ट और पिछले सालों के प्रश्नपत्र हल करें.

3. मैनेजमेंट कॉलेज कैसे चुनें?
शीर्ष संस्थान: IIM अहमदाबाद, बेंगलुरु, कोलकाता, XLRI, एफएमएस दिल्ली, SPJIMR मुंबई और MDI गुरुग्राम.
निजी विश्वविद्यालय: Symbiosis, NMIMS और Amity जैसे संस्थान.
विशेषज्ञता: मार्केटिंग, फाइनेंस, HR या ऑपरेशंस में एक्सपर्टीज चुनें. किसी भी ऐसी स्ट्रीम में एमबीए करें, जो आपके बीए कोर्स के विषयों के साथ मेल खाए.

4. एमबीए प्रवेश प्रक्रिया
आवेदन: कैट/XAT जैसी परीक्षाओं के स्कोर के आधार पर संस्थानों में आवेदन करें.
GD/PI: ग्रुप डिस्कशन और पर्सनल इंटरव्यू में शामिल हों. बीए की एनालिटिकल और कम्युनिकेशन स्किल्स का यहां फायदा मिलेगा.
दस्तावेज़: 10वीं, 12वीं और बीए की मार्कशीट, प्रवेश परीक्षा स्कोर और पहचान पत्र जमा करें.

5. एमबीए कोर्स फीस
फीस: आईआईएम में 20-25 लाख रुपये, निजी संस्थानों में 10-20 लाख रुपये.
वित्तीय सहायता: एजुकेशन लोन, मेरिट-आधारित स्कॉलरशिप्स (IIM, XLRI) या NSP जैसी सरकारी योजनाएं.
ROI: एमबीए के बाद नौकरी में मिलने वाली हाई सैलरी इस इन्वेस्टमेंट को उचित बनाती है.

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