यहां मिलती थी मनचाही यूनिवर्सिटी की डिग्री, पुलिस को लग गई भनक, 5 अरेस्‍ट

3 hours ago

Last Updated:June 20, 2025, 19:03 IST

Delhi Crime News: प्रतिष्ठित यूनिवर्सिटी की फर्जी डिग्री तैयार करने वाले पांच आरोपियों को दिल्‍ली पुलिस की क्राइम ब्रांच ने गिरफ्तार किया है.

यहां मिलती थी मनचाही यूनिवर्सिटी की डिग्री, पुलिस को लग गई भनक, 5 अरेस्‍ट

दिल्‍ली पुलिस ने नामी यूनिवर्सिटी की फर्जी डिग्री तैयार करने वाले गिरोह का भांडाफोड़ किया हे.

Delhi Crime News: क्राइम ब्रांच की इंटर-स्टेट सेल ने एक बड़े फर्जी डिग्री रैकेट का पर्दाफाश किया है. इस गिरोह के पांच सदस्यों को गिरफ्तार किया गया है, जो देशभर के अलग-अलग विश्वविद्यालयों के नाम पर फर्जी डिग्री, मार्कशीट और माइग्रेशन सर्टिफिकेट बनाकर छात्रों को ठग रहे थे. इस कार्रवाई में कुल 275 फर्जी शैक्षणिक दस्तावेज, 6 लैपटॉप और 20 मोबाइल फोन जब्त किए गए हैं.

स्‍पेशल सीपी देवेश चंद्र श्रीवास्‍तव ने बताया कि मुखबिरों से मिली पक्की सूचना के आधार पर हेड कांस्टेबल हरेंदर मलिक ने जांच शुरू की. जांच में पता चला कि दिल्ली-एनसीआर में कुछ कोचिंग संस्थानों के मालिक मोटी रकम लेकर फर्जी डिग्री दे रहे हैं. ये डिग्रियां विभिन्न प्रतिष्ठित विश्वविद्यालयों के नाम पर बनाई जाती थीं और इनमें बैकडेट एंट्री भी होती थी.

पहली गिरफ्तारी के साथ हुआ बड़ा खुलासा
स्‍पेशल सीपी देवेश चंद्र श्रीवास्‍तव ने बताया कि मामले की गंभीरता को देखते हुए इंस्पेक्टर मनीत मलिक के नेतृत्व में एक विशेष टीम बनाई गई. टीम ने सबसे पहले विक्की हरजानी नामक व्यक्ति को नेताजी सुभाष प्लेस से गिरफ्तार किया, जो परमहंस विद्यापीठ नाम से संस्थान चलाता था. उसकी गाड़ी और ऑफिस की तलाशी में 75 फर्जी शैक्षणिक दस्तावेज मिले.

उन्‍होंने बताया कि ये दस्‍तावेज उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश, राजस्थान, गुजरात, सिक्किम, मेघालय और तमिलनाडु के विश्वविद्यालयों के नाम पर थे. विक्‍की हरजानी की पूछताछ में इस सिंडीकेट में शामिल अन्‍य कई लोगों के नाम का खुलासा किया. उसकी निशानदेही पर चार अन्‍य आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है. गिरफ्तार आरोपियों में विवेक गुप्‍ता, सतबीर सिंह, नारायणजी और अवनीश कंसल शामिल है.

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मौके से बरामद किए गए सैकड़ों दस्‍तावेज
उन्‍होंने बताया कि विवेक गुप्ता नोएडा में कई एजुकेशन सेंटर चलाता है, पहले भी फर्जीवाड़े में शामिल रहा है. सतबीर सिंह फरीदाबाद में गुरुकुल एजुकेशन सेंटर चलाता है. नारायण जी बिहार में कोचिंग सेंटर चलाता है और अब दिल्ली में भी फैलाव की कोशिश में था. अवनीश कंसल बी.टेक डिग्रीधारी है और पहले से दो मामलों में जयपुर की सेंट्रल जेल में बंद है.

क्राइम ब्रांच की टीम ने छापेमारी में कुल 275 फर्जी दस्तावेज बरामद किए गए हैं, जिनमें डिग्री, मार्कशीट, माइग्रेशन और प्रोविजनल सर्टिफिकेट शामिल हैं. साथ ही जब्त किए गए मोबाइल और लैपटॉप में 5000 से अधिक डिजिटल फाइल्स मिली हैं जो बीए., बीएससी, बीकॉम, बीटेक, बीएड, एमबीए और एमए जैसे कोर्स की फर्जी डिग्रियों से संबंधित थीं.

कैसे काम करता था गिरोह?
ये लोग सोशल मीडिया और पर्चों के जरिए छात्रों को लुभाते थे. छात्रों को यूजीसी मान्यता प्राप्त संस्थानों में एडमिशन और बैकडेट डिग्री का लालच दिया जाता था. छात्रों से उनकी जानकारी लेकर अलग-अलग हिस्सों में मौजूद गिरोह के सदस्य पेशेवर ढंग से फर्जी दस्तावेज बनाकर देते थे.

Anoop Kumar MishraAssistant Editor

Anoop Kumar Mishra is associated with News18 Digital for the last 3 years and is working on the post of Assistant Editor. He writes on Health, aviation and Defence sector. He also covers development related to ...और पढ़ें

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