Last Updated:August 08, 2025, 17:37 IST
Tariff Effect on GDP : ग्लोबल रेटिंग एजेंसी मूडीज ने बताया है कि अमेरिकी टैरिफ के 50 फीसदी पहुंचने के बाद भारतीय विकास दर घटकर 6 फीसदी के आसपास पहुंच जाएगी. टैरिफ से चालू वित्तवर्ष में ही विकास दर 0.30 फीसदी ...और पढ़ें

नई दिल्ली. दुनिया की सबसे बड़ी रेटिंग एजेंसी मूडीज ने शुक्रवार को बताया कि अगर अमेरिका 27 अगस्त से भारतीय निर्यात पर कुल 50 प्रतिशत आयात शुल्क लागू कर देता है तो वित्तवर्ष 2025-26 में भारत की आर्थिक वृद्धि दर घटकर 6 प्रतिशत रह जाएगी. यह अनुमान चालू वित्तवर्ष के लिए 6.3 प्रतिशत वृद्धि दर के मौजूदा पूर्वानुमान से 0.3 प्रतिशत अंक कम है. इसका मतलब है कि टैरिफ से न सिर्फ निर्यात और उत्पादन पर असर पड़ेगा, बल्कि आखिर में इससे भारतीय अर्थव्यवस्था की विकास दर भी सुस्त पड़ सकती है.
हालांकि, रेटिंग एजेंसी ने कहा कि भारत की मजबूत घरेलू मांग और सेवा क्षेत्र की मजबूती अमेरिकी शुल्क के दबाव को कुछ हद तक कम करने में सफल रहेगी. इसके साथ ही मूडीज ने कहा कि उच्च अमेरिकी शुल्क पर भारत की प्रतिक्रिया से ही यह तय होगा कि इसकी आर्थिक वृद्धि, मुद्रास्फीति और बाहरी स्थिति पर इसका क्या असर होगा. अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने 6 अगस्त को भारतीय आयात पर अतिरिक्त 25 प्रतिशत शुल्क की घोषणा की थी. इसके साथ ही 27 अगस्त से भारतीय उत्पादों पर लगने वाला कुल शुल्क बढ़कर 50 प्रतिशत हो जाएगा.
दूसरों के मुकाबले सबसे ज्यादा शुल्क
मूडीज ने कहा कि भारतीय आयात पर लगाया गया 50 प्रतिशत शुल्क एशिया-प्रशांत क्षेत्र के अन्य देशों पर लागू 15-20 प्रतिशत शुल्क के मुकाबले कहीं अधिक है. लंबे समय में इसका असर भारत के विनिर्माण क्षेत्र, खासकर इलेक्ट्रॉनिक्स जैसे मूल्यवर्धित क्षेत्रों की विकास योजनाओं पर पड़ सकता है. एजेंसी ने कहा कि भारत के पास बाहरी अस्थिरता से निपटने के लिए पर्याप्त विदेशी मुद्रा भंडार है और सरकार संभवतः धीरे-धीरे राजकोषीय और ऋण नियंत्रण पर अपना ध्यान बनाए रखेगी.
रूस से फायदा और नुकसान दोनों
मूडीज ने कहा कि वर्ष 2022 के बाद से भारत ने रूस से सस्ते कच्चे तेल का जबरदस्त आयात किया है जिससे उसे महंगाई और चालू खाते के घाटे पर दबाव कम करने में मदद मिली है. वर्ष 2024 में भारत का रूस से तेल आयात बढ़कर 56.8 अरब डॉलर पर पहुंच गया, जबकि 2021 में यह 2.8 अरब डॉलर था. इसका मतलब है कि अमेरिकी टैरिफ से होने वाले नुकसान को कुछ समय तक झेला जा सकता है, लेकिन उसके बाद यह असर ज्यादातर सेक्टर्स में दिखाई देने लगेगा.
कितने डॉलर का होगा नुकसान
भारत पर 50 फीसदी टैरिफ लागू होने के बाद भारतीय एक्सपोर्ट को करीब 87 अरब डॉलर के नुकसान की आशंका है. कुछ विश्लेषकों का मानना है कि पिछले वित्तवर्ष में भारत से अमेरिका को निर्यात करीब 87 अरब डॉलर का रहा था, जिसमें से 55 फीसदी यानी करीब 40 अरब डॉलर के निर्यात पर इसी साल असर दिख सकता है. भारतीय उत्पाद बांग्लादेश और वियतनाम जैसे देशों की तुलना में 35 फीसदी तक महंगे हो जाएंगे और हमारा निर्यात निश्चित तौर पर प्रभावित हो सकता है.
प्रमोद कुमार तिवारी को शेयर बाजार, इन्वेस्टमेंट टिप्स, टैक्स और पर्सनल फाइनेंस कवर करना पसंद है. जटिल विषयों को बड़ी सहजता से समझाते हैं. अखबारों में पर्सनल फाइनेंस पर दर्जनों कॉलम भी लिख चुके हैं. पत्रकारि...और पढ़ें
प्रमोद कुमार तिवारी को शेयर बाजार, इन्वेस्टमेंट टिप्स, टैक्स और पर्सनल फाइनेंस कवर करना पसंद है. जटिल विषयों को बड़ी सहजता से समझाते हैं. अखबारों में पर्सनल फाइनेंस पर दर्जनों कॉलम भी लिख चुके हैं. पत्रकारि...
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Location :
New Delhi,Delhi
First Published :
August 08, 2025, 17:37 IST