गुरुग्राम की प्राइम लोकेशन, 2014 में खरीदे फ्लैट, 2018 तक नहीं मिली चाबी,अब...

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Last Updated:December 16, 2025, 13:16 IST

गुरुग्राम सेक्टर 71 के सीएचडी वन्‍न प्रोजेक्‍ट में घर खरीदने वाले खरीदारों का इंतजार आख‍िरकार खत्‍म होने वाला है. 7 साल इंतजार करने के बाद इस प्रोजेक्‍ट को पूरा करने की जिम्‍मेदारी NCLT ने रूट्स डेवलपर्स को दे दी है और सीएचडी डेवलपर्स ल‍िम‍िटेड के द‍िवाल‍िया होने के बाद उसे इससे अलग कर द‍िया है. जल्‍द ही सैकड़ों खरीदारों को घर म‍िल सकेगा.

गुरुग्राम की प्राइम लोकेशन, 2014 में खरीदे फ्लैट, 2018 तक नहीं मिली चाबी,अब...सीएचडी वन्‍न प्रोजेक्‍ट में घर जल्‍दी ही म‍िलेंगे.

CHD Vann project Gurgaon Update: गुरुग्राम की प्राइम लोकेशन सेक्टर 71 में साल 2014 में जब सीएचडी डेवलपर्स लिमिटेड ने फ्लैट लांच किए तो लोगों में खरीदने की होड़ मच गई और थोड़े ही समय में खरीदारों ने अपने सपनों के आशियाने के लिए जमा पूंजी लगा दी. कुछ लोगों ने बैंकों से लोन लिया क्योंकि साल 2018 में इन्हें फ्लैटों की चाबी मिलनी थी लेकिन साल 2018 आते-आते कुछ ऐसा हुआ कि इन्हें बनाने वाला बिल्डर दिवालिया हो गया और लोगों का घर पाने का सपना अधूरा रह गया, लेकिन अब इन सैकड़ों लोगों की किस्मत खुलने वाली है.

हाल ही में नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल (NCLT) ने सीएचडी डेवलपर्स लिमिटेड की चल रही इन्सॉल्वेंसी प्रक्रिया से सीएचडी वन्न (CHD Vann) प्रोजेक्ट को अलग करने की मंजूरी दे दी है. इससे सैकड़ों घर खरीदारों को बड़ी राहत मिली है और लंबे समय से अपने घर का इंतजार कर रहे लोगों का सपना साकार होने वाला है. एनसीएलटी के आदेश पर अब यह प्रोजेक्ट पूरी तरह रूट्स डेवलपर्स प्राइवेट लिमिटेड की देखरेख में आगे बढ़ेगा.

2014 में लांच हुए थे 569 फ्लैट
बता दें कि गुरुग्राम के सेक्टर 71 में स्थित सीएचडी वन्न को मार्च 2014 में 10.5 एकड़ में रहने के लिए रेजिडेंशियल प्रोजेक्ट के रूप में लॉन्च किया गया था. इसमें 12 टावर और 2, 3 व 4 बीएचके के 569 फ्लैट बनाए जाने थे. प्रोजेक्ट की शुरुआती योजना के अनुसार खरीदारों को फ्लैटों का पजेशन अक्टूबर 2018 में देना था,लेकिन सीएचडी डेवलपर्स की वित्तीय समस्याओं और इन्सॉल्वेंसी प्रक्रिया के कारण काम ठप होग गया और लोगों के हाथ निराशा हाथ लगी. हालांकि अब ट्रिब्यूनल के आदेश से उन घर खरीदारों को लंबे समय के इंतजार का फल मिलने जा रहा है. 2018 के सात साल बीतने के बाद अब लोगों को अपने फ्लैट मिल सकेंगे.

ट्रिब्यूनल का यह फैसला सिर्फ कानूनी मायने में महत्वपूर्ण नहीं है, बल्कि पूरी प्रक्रिया में अपनाई गई पारदर्शिता और खरीदारों के हितों को ध्यान में रखने वाले दृष्टिकोण को भी दिखाता है. ट्रिब्यूनल ने सहमति की शर्तों और समझौता ज्ञापन (MoU) पर भरोसा किया जो फैसले की नींव बने. इस प्रक्रिया में हर कदम और निर्णय साफ-सुथरे और नियमों के अनुसार रिकॉर्ड किए गए.

अब एक बार जब रिजॉल्यूशन प्रोफेशनल समझौता ज्ञापन (MoU) और सहमति की शर्तों के अनुसार प्रोजेक्ट को ऑफिशियली सौंप देता है, और सभी कानूनी कम्प्लायंस पूरे हो जाएंगे, तो रूट्स डेवलपर्स चार्ज लेने और प्रोजेक्ट को आगे बढ़ाने के लिए पूरी तरह तैयार है.

अब बिना रुकावट के होगा काम
रूट्स डेवलपर्स प्राइवेट लिमिटेड के डायरेक्टर राजन यादव ने कहा कि, ‘हम ट्रिब्यूनल के फैसले का तहे दिल से स्वागत करते हैं. यह आदेश सीएचडी वन्न के घर खरीदने वालों के लिए बड़ी राहत लेकर आया है, जिन्होंने लंबे समय तक इंतजार किया. हमारा सफर ट्रांसपेरेंसी, जिम्मेदारी और खरीदारों के प्रति गहरी प्रतिबद्धता पर आधारित रहा है. हम घर खरीदने वालों के उस भरोसे के लिए आभारी हैं, जिसने इस नतीजे की नींव तैयार की. हम हर घर से जुड़ी उम्मीदों को समझते हैं और इस प्रोजेक्ट को पूरी ईमानदारी और तेजी के साथ पूरा करने के लिए प्रतिबद्ध हैं.’

एनसीएलटी के आदेश के बाद, रूट्स डेवलपर्स सीएचडी वन्न प्रोजेक्ट के क्रियान्वयन और डिलीवरी की पूरी जिम्मेदारी संभाल रहा है. कंपनी का कहना है कि वह घर खरीदने वालों और सभी स्टेकहोल्डर्स के साथ खुला संवाद बनाए रखेगी, ताकि प्रोजेक्ट समय पर पूरा होने की दिशा में पारदर्शी और स्थिर रूप से आगे बढ़ सके.

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प्रिया गौतमSenior Correspondent

अमर उजाला एनसीआर में रिपोर्टिंग से करियर की शुरुआत करने वाली प्रिया गौतम ने हिंदुस्तान दिल्ली में संवाददाता का काम किया. इसके बाद Hindi.News18.com में वरिष्ठ संवाददाता के तौर पर काम कर रही हैं. हेल्थ एंड लाइफस्...और पढ़ें

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Delhi,Delhi,Delhi

First Published :

December 16, 2025, 13:16 IST

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