Last Updated:July 07, 2025, 17:59 IST
Rajasthan Sanjivani Scam : राजस्थान का बहुचर्चित संजीवनी घोटाला एक बार फिर से सुर्खियों में है. इसकी वहज है सूबे के पूर्व सीएम अशोक गहलोत और केन्द्रीय मंत्री गजेन्द्र सिंह शेखावत के बीच इस घोटाले को लेकर बढ़ी त...और पढ़ें

संजीवनी घोटाले पर पूर्व सीएम अशोक गहलोत और केन्द्रीय मंत्री गजेन्द्र सिंह शेखावत के बीच तकरार बढ़ी हुई है.
हाइलाइट्स
संजीवनी घोटाला 900 करोड़ रुपये का है.सोसाइटी का मुखिया विक्रम सिंह इंद्रोई जेल में है.कोर्ट ने गजेंद्र सिंह शेखावत को क्लीन चिट दी.जोधपुर. राजस्थान का बहचर्चित संजीवनी घोटाला अब मारवाड़ की राजनीति केन्द्र बिन्दु बन चुका है. राजस्थान के दो दिग्गज नेताओं पूर्व सीएम अशोक गहलोत और केन्द्रीय मंत्री गजेन्द्र सिंह शेखावत के बीच चल रही जंग का यह यही संजीवनी घोटाला मुख्य आधार माना जाता है. जोधपुर की सियासत इस घोटाले के इर्दगिर्द घूम रही है. गहलोत ने इस घोटाले में जब से शेखावत का नाम लेना शुरू किया उसके बाद यह यह मामला लगातार तूल पकड़ता गया. उसके बाद केस को लेकर कई तरह के मामले जोधपुर हाईकोर्ट से लेकर दिल्ली की अदालत के गलियारों में पहुंच गए.
दरअसल राजस्थान की संजीवनी क्रेडिट कॉपरेटिव सोसाइटी पर बड़ा घोटाला करने का आरोप है. सूत्रों के मुताबिक यह घोटाला करीब 900 करोड़ रुपये का है. लोगो ने अपने जीवनभर की गाढ़ी मेहनत की कमाई संजीवनी क्रेडिट कोऑपरेटिव सोसाइटी में निवेश कर दी थी. लेकिन इस घोटाले के बाद निवेशकों के पैसे डूब गए. इस मामले को लेकर साल 2019 के अगस्त महीने में एसओजी में सोसाइटी के खिलाफ घोटाले का मामला एफआईआर संख्या 32 के रूप में दर्ज किया गया था.
सोसाइटी का मुखिया और अन्य आरोपी अभी जेल में हैं
उसके बाद इस केस की जांच शुरू की गई. इस मामले में एसओजी अब तक सोसायटी मुखिया समेत कई लोगों को गिरफ्तार कर चुकी है. सोसाइटी का मुखिया विक्रम सिंह इंद्रोई समेत कई मुख्य लोग भी जेल में हैं. इस मामले में पूर्व सीएम अशाके गहलोत बार-बार केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत का नाम लेकर बयान दे चुके हैं. एसओजी केंद्रीय मंत्री के करीबी सीए और कुछ लोगों को भी गिरफ्तार कर चुकी है. लेकिन गहलोत ने जब इस मामले में शेखावत के परिजनों को घसीटा तो वे भड़क गए. उन्होंने गहलोत के खिलाफ मानहानि का दावा कर दिया. मानहानि का यह केस दिल्ली की राउज कोर्ट में चल रहा है.
कोर्ट ने शेखावत को दी क्लीन चिट
उसके बाद इस मामले में स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप (एसओजी) की ओर से एक विस्तृत रिपोर्ट कोर्ट में पेश की गई. उसमें कहा गया कि गजेंद्र सिंह शेखावत के खिलाफ कोई भी सबूत नहीं है. कंपनियों में निदेशक के रूप में उनके इस्तीफे के बाद किए गए कृत्यों के लिए उन्हें जिम्मेदार नहीं ठहराया जा सकता. ऐसे में कोर्ट ने आदेश पारित करते हुए निर्देश दिया कि एसओजी की ओर से प्रस्तुत की गई विस्तृत रिपोर्ट के आधार पर याचिकाकर्ता गजेंद्र सिंह शेखावत के खिलाफ कोई मामला नहीं बनता है. शेखावत के वकील आदित्य विक्रम सिंह का कहना था कि कोर्ट ने यह भी स्पष्ट किया है कि एसओजी ट्रायल कोर्ट से अनुमति लिए बिना शेखावत के खिलाफ आगे की जांच नहीं कर सकती है.
संदीप ने 2000 में भास्कर सुमूह से पत्रकारिता की शुरुआत की. कोटा और भीलवाड़ा में राजस्थान पत्रिका के रेजीडेंट एडिटर भी रह चुके हैं. 2017 से News18 से जुड़े हैं.
संदीप ने 2000 में भास्कर सुमूह से पत्रकारिता की शुरुआत की. कोटा और भीलवाड़ा में राजस्थान पत्रिका के रेजीडेंट एडिटर भी रह चुके हैं. 2017 से News18 से जुड़े हैं.
Location :
Jodhpur,Jodhpur,Rajasthan