साउथ कोरिया के पूर्व राष्ट्रपति पर चलेगा आपराधिक मुकदमा, जानें क्या मामला और क्या हैं आरोप?

1 week ago

दक्षिण कोरिया के पूर्व राष्ट्रपति यून सुक येओल के खिलाफ पहला आपराधिक मुकदमा इस सप्ताह शुरू होने वाला है. यह मुकदमा दिसंबर में मार्शल लॉ की घोषणा के कारण पद से हटाए जाने के 10 दिन बाद हो रहा है. रविवार को अदालत के अधिकारियों ने इसकी जानकारी दी है. सोल सेंट्रल डिस्ट्रिक्ट कोर्ट में सोमवार सुबह 10 बजे यून पर राजद्रोह के आरोपों की सुनवाई शुरू होगी. योनहाप न्यूज एजेंसी के अनुसार, आरोपी के रूप में यून को मुकदमे में शामिल होना होगा.

यून आपराधिक मुकदमे का सामना करने वाले पांचवें पूर्व राष्ट्रपति होंगे. उन्हें कोर्ट में भूमिगत पार्किंग के रास्ते प्रवेश करने की अनुमति होगी और कोर्ट ने इमारत के पास संभावित रैलियों को रोकने के लिए पुख्ता सुरक्षा इंतजाम किए हैं. मीडिया को सुनवाई शुरू होने से पहले कोर्ट रूम में तस्वीरें लेने की अनुमति नहीं होगी.

औपचारिक प्रक्रिया के तहत यून को शुरू में अपना नाम, जन्मतिथि, पेशा और निवास स्थान बताना होगा. इसके बाद अभियोजन पक्ष यून पर लगे आरोपों को रखेगा, जिन्हें उनकी तरफ से खारिज करने की उम्मीद है. पूर्व राष्ट्रपति जज से अपना पक्ष रखने का अवसर भी मांग सकते हैं. अगर यून को राजद्रोह का नेतृत्व करने के आरोप में दोषी ठहराया जाता है, तो उन्हें आजीवन कारावास या मृत्युदंड का सामना करना पड़ सकता है.

कैपिटल डिफेंस कमांड के फर्स्ट सिक्योरिटी ग्रुप के कमांडर चो सुंग-ह्यून और स्पेशल वारफेयर कमांड के फर्स्ट स्पेशल फोर्सेस बटालियन के प्रमुख किम ह्यूंग-की सोमवार को गवाह के रूप में पेश होंगे. यून के महाभियोग सुनवाई के दौरान संवैधानिक न्यायालय में चो ने गवाही दी थी कि उन्हें तत्कालीन कैपिटल डिफेंस कमांडर ली जिन-वू ने बीते साल 3 दिसंबर को मार्शल लॉ घोषित करने के बाद नेशनल असेंबली से सांसदों को बाहर निकालने के लिए सैनिक भेजने का आदेश दिया था. ऐसा माना जाता है कि किम को भी उसी रात अपने वरिष्ठ से ऐसा ही आदेश मिला था.
(इनपुट- न्यूज़ एजेंसी आईएएनएस)

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