Last Updated:October 28, 2025, 08:20 IST
आपदा प्रभावितों की मदद के लिए बीजेपी नेताओं के नेतृत्व में पीएम के पास जाने तो तैयार हुए सीएम, वित्त मंत्री को जीएसटी लागू होने के बाद से उपजी स्थिती की जानकारी देंगे, हिमाचल प्रदेश का मानव विकास सूचकांक राष्ट्रीय औसत से अधिक, हिमाचल का सूचकांक 0.78, जो राष्ट्रीय औसत 0.63 से अधिक है.
यूएनडीपी के मानव विकास सूचकांक में हिमाचल की स्थिती बेहतर, बीजेपी पर बरसे सीएम, पीएम को याद दिलाए 1500 करोड़, मंगलवार को जाएंगे दिल्लीशिमला. यूएनडीपी की मानव विकास रिपोर्ट से हिमाचल की स्थिति बेहतर आंकी गई है. ये रिपोर्ट हिमाचल सरकार के लिए सुख की खबर साबित हुई. ह्यूमन डेवलप्मेंट रिपोर्ट के अनुसार हिमाचल प्रदेश का मानव विकास सूचकांक राष्ट्रीय औसत से अधिक है. हिमाचल का औसत 0.78 है, जो राष्ट्रीय औसत 0.63 से अधिक है. इस रिपोर्ट पर सीएम गदगद नजर आए और बीजेपी पर जमकर बरसे. सीएम ने कहा कि ये एक स्वतंत्र रिपोर्ट है, जो दर्शाती है कि व्यवस्था परिवर्तन और नीतिगत बदलाव के बेहतरीन परिणाम आए हैं.
दरअसल, मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने सोमवार को शिमला में ‘हिमाचल प्रदेश मानव विकास प्रतिवेदन-2025’ का विमोचन किया. इसके बाद सीएम ने कहा कि पीएम ने हिमाचल में आई आपदा के लिए 1500 करोड़ की घोषणा की थी, लेकिन केवल घोषणा ही रह गई है, अब तक वो राशि हिमाचल को नहीं मिला है. इतना ही नहीं फिर से दोहराया कि आपदा प्रभावितों की मदद के लिए अगर बीजेपी नेताओं के नेतृत्व में पीएम से मिलने के लिए जाना पड़े तो इसके लिए तैयार हैं. उन्होंने कहा कि सभी मंत्री, बीजेपी सांसद और विधायक एक साथ मिलकर पीएम के पास जाने के लिए तैयार हैं.
आज दिल्ली जा रहे हैं सीएम सुक्खू
सीएम मंगलवार को दिल्ली दौरे पर जाएंगे और दिल्ली में केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मल सीतारमण से मुलाकात करेंगे. साथ ही केंद्रीय वित्तायोग के अध्यक्ष से भी मुलाकात करेंगे. सीएम ने कहा कि जीएसटी लागू होने के बाद से उपजी स्थिति की जानकारी वित्त मंत्री को दी जाएगी, साथ ही आरडीजी ग्रांट और अतिरिक्त ऋण पर लगी रोक को हटाने की भी मांग करेंगे. उन्होंने कहा कि जीएसटी से हिमाचल को कभी भी फायदा नहीं हो सकता, इसकी वजह ये है कि जीएसटी कंज्यूमर बेस्ड है और हिमाचल की जनसंख्या मात्र 75 लाख है, इससे केवल बड़े राज्यों को फायदा हो रहा है. जीएसटी लागू होने से पहले औद्योगिक क्षेत्र बद्दी, बरोटीवाला और नालागढ़ से हिमाचल को 4500 करोड़ की आय होती थी, जोकि घटकर मात्र 150 करोड़ रह गई है. इसके अतिरिक्त सीएम बीजेपी पर निशाना साधने से भी नहीं चूके.
हिमाचल पांच बड़े राज्यों में शामिल
यूएनडीपी की हिमाचल प्रदेश ह्यूमन डेवलेपमेंट रिपोर्ट पर सीएम ने कहा कि इस रिपोर्ट के मुताबिक हिमाचल देश के 5 बड़े राज्यों में शामिल हुआ है, ये रिपोर्ट हमारी सरकार की व्यवस्था परिवर्तन और नीतिगत बदलाव पर मुहर लगाती है, इससे पहले पहले नीति आयोग और वर्ल्ड बैंक ने हिमाचल सरकार की प्रशंसा की थी, अब गंभीर आर्थिक तंगी के बावजूद हमारी सरकार के कार्यों को यूएनडीपी ने सराहा है.
सीएम ने कहा कि यह दस्तावेज प्रदेश की प्रगति, दृढ़ता और जनता की आकांक्षाओं को दर्शाता है, यह प्रतिवेदन प्रदेश की कठिन भौगोलिक परिस्थितियों और जलवायु चुनौतियों के बावजूद यहां के निवासियों की दृढ़ इच्छा शक्ति और मेहनत के बल पर अनुकरणीय विकास गाथा को प्रस्तुत करता है. मुख्यमंत्री ने कहा कि यह गर्व की बात है कि मानव विकास प्रतिवेदन-2025 के अनुसार हिमाचल प्रदेश का मानव विकास सूचकांक औसत 0.78 है, जो राष्ट्रीय औसत 0.63 से अधिक है. हाल ही में हिमाचल प्रदेश ने पूर्ण साक्षर राज्य की उपलब्धि हासिल की है और प्रदेश की साक्षरता दर 99.30 प्रतिशत हो गई है. उन्होंने कहा कि हाल ही में आए राष्ट्रीय सर्वेक्षण में हिमाचल में पढ़ने-लिखने का स्तर बेहतरीन आंका गया है.
सर्वेक्षण में हिमाचल को देश में 5वां स्थान
सीएम ने कहा कि सर्वेक्षण में हिमाचल को देश में 5वां स्थान प्राप्त हुआ है जबकि वर्ष 2021 में हिमाचल 21वें स्थान पर था. इसके अलावा हिमाचल प्रदेश में शिशु मृत्यु दर प्रति एक हजार जीवित जन्मे शिशुओं पर 21 रह गई है जो हमारे स्वास्थ्य तंत्र की सफलता को दर्शाता है. मुख्यमंत्री ने कहा कि हमने न केवल सड़कों, उद्योगों, कृषि और बागवानी में निवेश किया है बल्कि भविष्य की नींव को आदर्शवादी और मजबूत बनाने के उद्देश्य से शिक्षा, स्वास्थ्य, महिला सशक्तिकरण, वृद्धजन देखभाल और ग्रामीण विकास जैसे मूलभूत क्षेत्रों में भी निवेश किया है. प्रदेश में औसत आयु बढ़कर 72 वर्ष हो गई है जो हमारे स्वास्थ्य पारिस्थितिकी तंत्र की सफलता का प्रतीक है. उन्होंने कहा कि प्रदेश में गरीबी दर में भारी गिरावट आई है, जो सात प्रतिशत से भी नीचे है. यह सब प्रदेश सरकार के सर्वांगीण और समावेशी विकास के निरंतर प्रयासों को प्रतिबिंबित करता है.
जलवायु परिवर्तन पर चिंता जताई
मुख्यमंत्री ने जलवायु परिवर्तन पर चिंता व्यक्त करते हुए कहा कि आज यह एक गम्भीर समस्या बनकर उभरी है और यदि इस समस्या का स्थायी समाधान तुरन्त नहीं खोजा गया तो इसके गंभीर परिणाम हमें और भावी पीढ़ी को झेलने पड़ेंग.। हिमाचल प्रदेश हमेशा पर्यावरणीय हितैषी विकास का पक्षधर रहा है और हमने सतत् विकास प्रणाली को अपनाया है. उन्होंने कहा कि हमने कभी अपने वनों, नदियों, पहाड़ों का अनुचित दोहन नहीं किया लेकिन जलवायु परिवर्तन का असर स्थान विशेष तक सीमित नहीं रहता, बल्कि यह पूरे विश्व को प्रभावित करता है. उन्होंने कहा कि इस वर्ष बरसात में हम जलवायु परिवर्तन के गम्भीर परिणामों को भुगत चुके हैं.
वहीं, यूएनडीपी की सीनियर इकॉनोमिस्ट ऐमी मिश्रा ने रिपोर्ट पर विस्तृत प्रस्तुति दी. यूएनडीपी की प्रतिनिधि डॉ. एंजेला लुसिगी ने हरित बजट, जलवायु संवेदनशील कार्यक्रमों के अलावा सतत् विकास और पर्यावरण केन्द्रित सुनियोजित निर्माण कार्यों पर आधारित नीतियों और भागीदारीपूर्ण शासन की दिशा में पहल के लिए मुख्यमंत्री के प्रयासों की सराहना की. बैठक में सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री डॉ. (कर्नल) धनी राम शांडिल, युवा सेवाएं एवं खेल मंत्री यादवेंद्र गोमा, सातवें राज्य वित्तायोग के अध्यक्ष नंद लाल विधायक सुरेश कुमार एवं मलेंद्र राजन, मुख्य सचिव संजय गुप्ता, प्रधान सचिव देवेश कुमार सहित अन्य अधिकारी मौजूद रहे.
Results-driven journalist with 14 years of experience in print and digital media. Proven track record of working with esteemed organizations such as Dainik Bhaskar, IANS, Punjab Kesari and Amar Ujala. Currently...और पढ़ें
Results-driven journalist with 14 years of experience in print and digital media. Proven track record of working with esteemed organizations such as Dainik Bhaskar, IANS, Punjab Kesari and Amar Ujala. Currently...
और पढ़ें
Location :
Himachal Pradesh
First Published :
October 28, 2025, 08:20 IST

12 hours ago
