Last Updated:August 20, 2025, 13:06 IST
INDIAN AIRFORCE: तेजस मिलने को हो रही देरी पर वायुसेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल ए पी सिंह ने कई बार अपनी नाराजगी जता चुके है. HAL के CMD ने भी देरी की वजह साफ करते हुए कहा था कि इस कलेंडर इयर में 12 और इंजन मिल जा...और पढ़ें

INDIAN AIRFORCE: भारत के दो पड़ोसी चीन और पाकिस्तान अपनी सामरिक ताकत को बढ़ाने में लगे हैं. चीन पाकिस्तान को हथियार दे रहा है और पाकिस्तान चीन को लड़ने के गुर सिखा रहा है. पाकिस्तान पांचवीं पीढ़ी के फाइटर जेट खरीद रहा है. चीन अपने सभी फाइटर को 5वीं पीढ़ी के जेट में बदल रहा है. मौजूदा सुरक्षा के लिहाज से भारतीय वायुसेना 42 फाइटर स्क्वॉड्रन के बजाय सिर्फ 31 से ही काम चला रही है. मिग 21 के दो स्क्वॉड्रन के 26 सितंबर को फेजआउट होने के बाद फाइटर स्क्वॉड्रन की संख्या 29 हो जाएगी, जो अब तक सबसे कम है. इस कमी को पूरा करने के लिए स्वदेशी तेजस का उपयोग किया जाएगा. इसी को ध्यान में रखते हुए सरकार ने 97 तेजस मार्क 1A की अतिरिक्त खरीद को मंजूरी दे दी है. रिपोर्ट के मुताबिक, यह पूरी डील 62,000 करोड़ रुपये से ज्यादा की है.
वायुसेना का तेजस प्लान
तेजस के पहले वर्जन के तौर पर 40 तेजस भारतीय वायुसेना के लिए लेने का करार हुआ था, जो लगभग पूरा हो चुका है. इसके अब तक दो स्क्वॉड्रन स्थापित किए जा चुके हैं. इसके बाद साल 2021 में रक्षा मंत्रालय ने 83 तेजस मार्क 1A का ऑर्डर दिया था जिससे कुल 4 स्क्वॉड्रन बनेंगे. इसके लिए करार पूरा हो गया है और ये सभी 83 विमानों की डिलीवरी अब जल्द शुरू हो जाएगी. वायुसेना HAL से 83 एलसीए तेजस मार्क-1A ले रही है, जिसका पहला विमान इसी साल भारतीय वायुसेना को मिल जाएगा. अगले छह साल में सभी 83 तेजस फाइटर जेट एयरफोर्स को दे दिए जाएंगे. इन 83 में से 73 एलसीए तेजस मार्क 1A फाइटर एयरक्राफ्ट होंगे और 10 एलसीए तेजस मार्क 1 ट्रेनर एयरक्राफ्ट होंगे. लाइट कॉम्बेट एयरक्राफ्ट मार्क 1A को भारत में ही डिजाइन और डिवेलप किया है और भारत में ही बनाया गया है. यह आधुनिक 4+ जेनेरेशन का फाइटर एयरक्राफ्ट है. वायुसेना की जरूरतों के मुताबिक, 5 अतिरिक्त स्क्वॉड्रन के लिए 97 तेजस मार्क 1A के AON की मंजूरी DAC ने साल 2023 में दे दी थी. आखिरी मुहर भी अब लग चुकी है. तेजस के कुल 11 स्क्वॉड्रन में 2 आ चुके हैं, बाकी 9 आने हैं. इसके अलावा तेजस मार्क 1A का एडवांस वर्जन यानी तेजस मार्क-2 पर काम जोर-शोर से जारी है। यह मार्क-1A से ज्यादा मॉडिफाइड होगा.
LCA MK-1A की नई खरीद से अमेरिका की खिली बांछे
भारत का फाइटर एयरक्राफ्ट प्रोग्राम अभी तक धीमी गति से चल रहा था. वजह थी उसके लिए अमेरिका से लिए गए इंजन की डिलिवरी में देरी. लेकिन अब इसमें तेजी आ रही है. तेजस मार्क 1A के लिए HAL को दूसरा इंजन भी मिल चुका है. HAL पिछले दो साल से इंजन के इंतजार में था. जनरल इलेक्ट्रिक ने इसी साल से इंजन की डिलीवरी शुरू कर दी है. पहला इंजन मार्च में डिलीवर किया गया था और दूसरा जुलाई में. भारत के तेजस मार्क 1A प्रोग्राम के लिए इंजन की डील अमेरिकी इंजन निर्माता कंपनी जनरल इलेक्ट्रिक (GE) के साथ साल 2021 में की गई थी. इस डील के तहत कुल 99 F404 इंजन की सप्लाई भारत को होनी है. अब जब 97 तेजस मार्क 1A की खरीद को मंजूरी मिल गई है तो उसके इंजन के लिए भी अमेरिकी इंजन निर्माता कंपनी जनरल इलेक्ट्रिक (GE) की तरफ ही रुख किया जाएगा. एक्सपर्ट्स की मानें तो फाइटर जेट के मामले में इंजन के ऊपर ही पूरा डिजाइन निर्भर होता है. अगर इंजन में किसी भी तरह का बदलाव होता है तो एयरक्राफ्ट का पूरा डिजाइन बदलना पड़ सकता है. साल 2004 में F404-IN20 को तेजस के लिए चुना गया. 2016 तक भारत को सभी 65 इंजन डिलीवर किए जा चुके थे. दूसरा ऑर्डर ना होने के चलते प्रोडक्शन लाइन को बंद कर दिया गया था. लेकिन साल 2021 में HAL की तरफ से 99 इंजन का ऑर्डर आया तो प्रोडक्शन लाइन को फिर से शुरू किया गया.
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First Published :
August 20, 2025, 13:06 IST