नई दिल्ली. कनाडा में गिरफ्तार आतंकवादी अर्श डल्ला की जमानत को लेकर सोमवार को सुनवाई होनी है, जिसमें उसे जमानत मिलने की पूरी संभावना है, लेकिन आतंकवादियों को सपोर्ट देने के मामले में अपनी पोल खुलने के डर से प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो डल्ला को फिलहाल भारत नहीं भेजेंगे. कनाडा में डल्ला पर और दूसरे मुकदमें भी दर्ज किये जा सकते हैं. कनाडा में भारत के वॉन्टेड आतंकवादी अर्श डल्ला को जिस केस में गिरफ्तार किया गया है, उसमें उसे आपसी गैंगवार में गोली लगी है. जवाब में उसने भी फायर किए थे. इस फायरिंग को लेकर ही उसके खिलाफ मुकदमा दर्ज है, जिसमें उसे जमानत मिल सकती है.
कनाडा के नियम के मुताबिक जितने हजार डॉलर की जमानत मिलेगी, उतने डॉलर की एफडी करा कर डाला को कनाडा सरकार के पास जमा करनी होगी. मसलन यदि किसी आरोपी की 50000 डॉलर की जमानत होती है, तो उस आरोपी को 50000 डॉलर की एफडी या नगद कनाडा सरकार के पास जमा करनी होती है, जिससे वह देश के बाहर भाग ना सके.
मिली जानकारी के मुताबिक अर्श डल्ला को भारत भेजने से वर्तमान प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो की खालिस्तान आतंकवादियों के साथ हुई सांठगांठ पूरी तरह से खुल जाएगी. इसी डर की वजह से जस्टिन ट्रूडो नहीं चाहते कि अर्श डल्ला को वापस भारत भेजा जाए. यही कारण है कि अर्श के खिलाफ कुछ दूसरे मामलों में भी मुकदमा दर्ज करने की तैयारी की जा रही है.
खुफिया विभाग के एक आला अधिकारी ने बताया कि सनी टोरंटो नाम का भारतीय अपराधी कनाडा कस्टम में काम करता है और यह भी संभव है कि वह उनका खुफिया अधिकारी हो. सनी टोरंटो को भारत भेजने की तमाम रिक्वेस्ट के बाद उसे आज तक भारत नहीं भेजा गया. ऐसे में अर्श डल्ला सनी टोरंटो से बड़ा खिलाड़ी है, उसे भेजने से प्रधानमंत्री ट्रूडो का आतंकवादी नेक्सस पूरी तरह से खुल जाएगा, जिसके चलते अर्श डल्ला के भारत आने की संभावना फिलहाल ना के बराबर है.
Tags: Canada, Justin Trudeau, Khalistani terrorist
FIRST PUBLISHED :
November 18, 2024, 17:39 IST