Last Updated:November 28, 2025, 23:08 IST
Ditwah Cyclone Update: भारत ने दितवाह तूफान से प्रभावित श्रीलंका में ऑपरेशन सागर बंधु के तहत राहत भेजी. आईएनएस विक्रांत और आईएनएस उदयगिरी ने बचाव और सामग्री पहुंचाई. यह मिशन HADR क्षमता, रणनीतिक शक्ति और क्षेत्रीय भरोसेमंद सहयोगी के रूप में भारत की भूमिका दिखाता है.
भारत ने मदद का हाथ बढ़ाया. जब-जब सागर गरजे, तट पर विपदा छाई. तब-तब हिंद की छाती, बंधु बनकर आई. भीषण दितवाह तूफान से हुई भारी तबाही के बाद भारत ने अपने सबसे करीबी समुद्री पड़ोसी यानी श्रीलंका की ओर तुरंत सहायता का हाथ बढ़ाया है जिसे ऑपरेशन सागर बंधु नाम दिया गया है. इस त्वरित मानवीय सहायता और आपदा राहत (HADR) मिशन के लिए श्रीलंका ने भारत और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तहे दिल से तारीफ की और आभार व्यक्त किया. भारत में श्रीलंका की उच्चायुक्त महिषिनी कोलोन ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पीएम मोदी, विदेश मंत्री एस जयशंकर और भारत सरकार को धन्यवाद देते हुए कहा कि भारत हर संकट के समय श्रीलंका के साथ मजबूती से खड़ा रहा है.
प्रधानमंत्री मोदी ने स्वयं एक्स पर संदेश जारी कर दितवाह तूफान से जान गंवाने वाले लोगों के प्रति गहरी संवेदना व्यक्त की और प्रभावित परिवारों की सुरक्षा और पुनर्वास के लिए प्रार्थना की. उन्होंने स्पष्ट किया कि भारत की ‘नेबरहुड फर्स्ट’ नीति और ‘विजन महासागर’ के अनुरूप भारत ने तुरंत राहत सामग्री और जरूरी समर्थन भेजा है. मिशन की गंभीरता का अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि भारत के पहले स्वदेशी विमानवाहक पोत आईएनएस विक्रांत और नवीनतम स्वदेशी स्टील्थ फ्रिगेट आईएनएस उदयगिरी ने कोलंबो में राहत सामग्री सौंपी. यह दोनों युद्धपोतों की पहली विदेशी तैनाती है और ये श्रीलंका में आयोजित इंटरनेशनल फ्लीट रिव्यू 2025 में भारतीय नौसेना का प्रतिनिधित्व कर रहे थे.
श्रीलंका में दितवाह तूफान ने भयंकर बाढ़ और लैंडस्लाइड को जन्म दिया है जिससे मरने वालों की संख्या अब तक 56 पहुँच चुकी है. सेना कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल लसंथा रोड्रिगो के अनुसार 20,500 से अधिक श्रीलंकाई सैन्य जवानों को रेस्क्यू और राहत ऑपरेशन में लगाया गया है. 3,490 से अधिक लोगों को सुरक्षित बचाकर दूसरी जगह बसाया गया है. श्रीलंका के मौसम विभाग ने रविवार तक भारी बारिश जारी रहने की चेतावनी दी है, जिसने राहत कार्यों की चुनौती को और बढ़ा दिया है.
ऑपरेशन सागर बंधु: क्यों है यह एक्शन महत्वपूर्ण?
ऑपरेशन सागर बंधु भारत की पड़ोसी पहले नीति और हिंद महासागर क्षेत्र में एक नेट सुरक्षा प्रदाता की भूमिका को रेखांकित करता है. यह केवल एक मानवीय सहायता मिशन नहीं है बल्कि यह क्षेत्र में भारत के बढ़ते रणनीतिक और नैतिक प्रभाव का प्रदर्शन है.
• HADR कूटनीति का प्रदर्शन: ऑपरेशन सागर बंधु संकट के समय में भारत की मानवीय सहायता और आपदा राहत (HADR) क्षमता को दर्शाता है, जिससे द्विपक्षीय संबंध मजबूत होते हैं.
• रणनीतिक संपत्ति का उपयोग: आईएनएस विक्रांत और आईएनएस उदयगिरी जैसे प्रमुख युद्धपोतों का राहत कार्य में उपयोग करना, भारत की समुद्री शक्ति और त्वरित प्रतिक्रिया क्षमता को वैश्विक मंच पर प्रस्तुत करता है.
• चीनी प्रभाव का संतुलन: महत्वपूर्ण समय में त्वरित और निःस्वार्थ सहायता भेजकर, भारत क्षेत्र में चीन के बढ़ते रणनीतिक प्रभाव को संतुलित करता है, यह साबित करते हुए कि वह सबसे विश्वसनीय सहयोगी है.
• विजन महासागर की प्रतिबद्धता: यह ऑपरेशन प्रधानमंत्री मोदी के विजन ‘SAGAR’ (Security and Growth for All in the Region) के प्रति भारत की प्रतिबद्धता को मजबूत करता है, जिसका अर्थ है क्षेत्र में सभी के लिए सुरक्षा और विकास सुनिश्चित करना.
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पत्रकारिता में 14 साल से भी लंबे वक्त से सक्रिय हूं. साल 2010 में दैनिक भास्कर अखबार से करियर की शुरुआत करने के बाद नई दुनिया, दैनिक जागरण और पंजाब केसरी में एक रिपोर्टर के तौर पर काम किया. इस दौरान क्राइम और...और पढ़ें
First Published :
November 28, 2025, 23:08 IST

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