जिस बांग्लादेश को भारत ने बनाया, वही अब दुश्मनों की तरह धमकाने लगा है. बांग्लादेश के नेता वहां हिन्दुओं पर हो रहे अत्याचार पर कुछ नहीं बोलते, लेकिन अगरतला में बांग्लादेशी मिशन के पास कुछ भारतीय जमा क्या हो गए, उनकी सांसें फूलने लगीं. बांग्लादेश ने ढाका में भारतीय उच्चायुक्त प्रणय वर्मा को बुलाकर विरोध जताया. इतना ही नहीं, बांग्लादेश सरकार के कानूनी सलाहकार ने खुलेआम धमकी दे डाली. कहा- ‘भारत समझ ले, ये शेख हसीना का बांग्लादेश नहीं है.’ जवाब भारत ने भी दिया. बांग्लादेश के विदेश सचिव से मुलाकात के बाद उच्चायुक्त प्रणय वर्मा ने कहा, सिर्फ एक घटना से हमारे रिश्ते कमजोर नहीं हो सकते.
बांग्लादेश में जब से मुहम्मद यूनुस के नेतृत्व में अंतरिम सरकार बनी है, रोज भारत के खिलाफ कुछ न कुछ हरकतें सामने आ रही हैं. भारत ने विरोध भी जताया. लेकिन हद तब हो गई, जब वहां हिन्दुओं पर हमले होने लगे. हिन्दू पुजारियों को निशाना बनाया जाने लगा. उन्हें गिरफ्तार किया जाने लगा. इससे तनाव और बढ़ गया है. सोमवार को अगरतला में कुछ लोगों ने बांग्लादेशी उप उच्चायोग के बाहर प्रदर्शन किया, तो बांग्लादेश इतना भड़क उठा कि उसने मिशन में कामकाज ठप कर दिया. पुलिस ने हमला करने के आरोप में चार लोगों को गिरफ्तार किया है, लेकिन बांग्लादेशी नेताओं की बयानबाजी आग में घी का काम कर रही है. बांग्लादेश ने हमले पर सख्त आपत्ति जताई. कहा-ऐसी घटनाएं बर्दाश्त नहीं. इससे रिश्ते और खराब होंगे.
बांग्लादेश का भारत विरोधी कदम
1. बांग्लादेश ने अगरतला की घटना पर विरोध जताते हुए ढाका में भारतीय उच्चायुक्त प्रणय वर्मा को बुलाकर विरोध जताया.
2. इससे भी मन नहीं भरा तो अगरतला स्थित बांग्लादेश उप उच्चायोग में वीजा और वाणिज्य दूतावास से जुड़े सारे कामकाज रोक दिए.
3. ढाका यूनिवर्सिटी के कैंपस में सैकड़ों छात्रों ने भारत विरोधी नारे लगाते हुए विरोध प्रदर्शन किया. सरकार ने इन्हें नहीं रोका.
नेताओंं के बयान भी सुन लीजिए
बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के कानूनी सलाहकार आसिफ नजरुल ने अपने फेसबुक पोस्ट पर लिखा, ‘भारत को ये समझना होगा कि ये शेख हसीना का बांग्लादेश नहीं है. हम बराबरी के स्तर पर दोस्ती के समर्थक हैं. ये बांग्लादेश एक स्वतंत्र, संप्रभु और स्वाभिमानी देश है. बांग्लादेश एक निडर और युवा देश है.’
बांग्लादेश जमात-ए-इस्लामी के प्रमुख शफिकुर रहमान ने कहा, ‘भारत अपने पड़ोसी देश के डिप्लोमैटिक मिशन को सुरक्षा देने में नाकाम रहा है. भारत के पास बांग्लादेश में सांप्रदायिक सद्भाव की बात करने का कोई अधिकार नहीं है. बांग्लादेश की जनता किसी के प्रभुत्व को स्वीकार नहीं करेगी.’
भारत का जवाब भी जान लीजिए
बांग्लादेश के विदेश सचिव से मुलाकात के बाद जब भारतीय उच्चायुक्त प्रणय वर्मा बाहर आए तो उन्होंने बांग्लादेश के नेताओं को दो टूक जवाब दिया. उन्होंने कहा, भारत और बांग्लादेश के संबंध बहुआयामी हैं और भारत-बांग्लादेश संबंधों को एक मुद्दे पर अटकाने का कोई कारण नहीं है. उन्होंने कहा, हम अंतरिम सरकार के साथ काम करने और मैत्रीपूर्ण संबंध बनाए रखने के इच्छुक हैं. भारत बांग्लादेश के साथ सकारात्मक रचनात्मक संबंध बनाना चाहता है. हम अंतरिम सरकार के साथ काम कर रहे हैं। हम अर्थव्यवस्था सहित विभिन्न क्षेत्रों में मिलकर काम करेंगे.
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FIRST PUBLISHED :
December 3, 2024, 21:36 IST