Last Updated:January 12, 2025, 19:00 IST
BHU PhD Admission 2025: बीएचयू पीएचडी प्रवेश प्रक्रिया के नियमों में महत्वपूर्ण बदलाव किया गया है. अगर आप भी इसके लिए शामिल होने वाले हैं, तो दिए गए बातों को ध्यान से पढ़ें.
BHU PhD Admission 2025: काशी हिन्दू विश्वविद्यालय (BHU) ने पीएचडी प्रवेश प्रक्रिया के नियमों में अहम बदलाव किया है. छात्रों के विरोध प्रदर्शन को ध्यान में रखते हुए अब हर सीट पर 10 उम्मीदवारों को इंटरव्यू के लिए बुलाया जाएगा, जबकि पहले यह संख्या 5 थी. इस बदलाव से प्रवेश प्रक्रिया में अधिक पारदर्शिता और अवसर मिलने की उम्मीद जताई जा रही है.
1540 सीटों के लिए 15,400 आवेदन
वर्तमान शैक्षणिक सेशन में मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार बीएचयू में कुल 1540 पीएचडी सीटें हैं, जिनके लिए 15,400 उम्मीदवार इंटरव्यू देंगे. यह प्रक्रिया 16 फैकल्टी के 140 मुख्य विषयों के तहत आयोजित की जा रही है. इसके अलावा, बीएचयू से संबद्ध महाविद्यालयों के लिए 124 सीटें अलग से नोटिफाई की गई हैं.
एडमिशन प्रोसेस में सुधार के उपाय
बीएचयू प्रशासन ने संस्थानों, फैकल्टीज और संबद्ध महाविद्यालयों में प्रवेश प्रक्रिया को सुचारू रूप से संपन्न कराने के लिए सभी तैयारियां पूरी कर ली है. अपर परीक्षा नियंत्रक प्रो. ज्ञानप्रकाश सिंह के अनुसार, JRF (जूनियर रिसर्च फेलोशिप) की वैधता दो साल से अधिक रहने वाले उम्मीदवारों को आवेदन करते समय अनुमति पत्र या आवश्यक डॉक्यूमेंट्स अपलोड करना होगा.
JRF स्कॉलरशिप होल्डर को मिलेगा प्राथमिकता
बीएचयू ने उन उम्मीदवारों को प्राथमिकता देने का निर्णय लिया है, जिनकी JRF स्कॉलरशिप समाप्त होने के बावजूद वे प्रवेश नहीं ले पाए थे. इसके अलावा वर्ष 2021, 2022, 2023 और 2024 में JRF पास कर चुके और स्कॉलरशिप प्राप्त करने वाले उम्मीदवारों भी इस प्रक्रिया में शामिल हो सकेंगे. हालांकि, जिनकी स्कॉलरशिप समाप्त हो चुकी है, उन्हें इस प्रक्रिया में शामिल नहीं किया जाएगा.
जेआरएफ कैटेगरी वाले उम्मीदवारों के लिए मौका
बीएचयू में सीएसआईआर-जेआरएफ, आईसीएमआर-जेआरएफ, डीबीटी-जेआरएफ और आईसीएआर-जेआरएफ कैटेगरी के उम्मीदवारों को दाखिला दिया जा रहा है. उल्लेखनीय है कि यूजीसी-जेआरएफ के लिए तीन साल की स्कॉलरशिप दी जाती है, जबकि अन्य कैटेगरियों के लिए दो साल की स्कॉलरशिप दी जाती है.
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