समिक भट्टाचार्य ही क्‍यों, जिनकी कैप्टेंसी में बंगाल जीतना चाहती है बीजेपी

10 hours ago

Last Updated:July 02, 2025, 20:18 IST

पश्च‍िम बंगाल में बीजेपी अब एक नए चेहरे के साथ मैदान में उतरने की तैयारी कर रही है. समिक भट्टाचार्य के सहारे वो दांव खेलना चाहती है, तो तृणमूल कांग्रेस की चीफ ममता बनर्जी को परेशान कर सकता है.

समिक भट्टाचार्य ही क्‍यों, जिनकी कैप्टेंसी में बंगाल जीतना चाहती है बीजेपी

समिक भट्टाचार्य

हाइलाइट्स

समिक भट्टाचार्य संघ से जुड़े नेता रहे हैं और उन्‍हें सबका समर्थन हास‍िल है. समिक भट्टाचार्य पश्च‍िम बंगाल में बीजेपी के पहले विधायक चुने गए थे.समिक भट्टाचार्य जहां से लड़ते हैं वहां डेमेग्राफी एक बड़ा मुद्दा बन रहा है.

बंगाल जीतने के इरादे लेकर उतरी बीजेपी अपना कैप्‍टन बदल रही है. सूत्रों के मुताबिक, पार्टी ने समिक भट्टाचार्य को बंगाल बीजेपी का नया अध्‍यक्ष बनाने की तैयारी कर ली है. आरएसएस बैकग्राउंड वाले समिक भट्टाचार्य बंगाल बीजेपी के सबसे वरिष्ठ नेताओं में गिने जाते हैं. बसीरहाट साउथ से बीजेपी के पहले विधायक बनने का गौरव उन्हें ही हासिल है. यह सीट बांग्लादेशी सीमा के बिल्‍कुल करीब है. इस इलाके में डेमोग्राफी काफी तेजी से चेंज हुआ है. ऐसे में जब 2026 के ल‍िए बीजेपी इसी मुद्दे को अपना मुख्य हथियार बनाने जा रही है, भट्टाचार्य स्वाभाविक विकल्प बनकर उभरे हैं.

क्यों चुने गए समिक भट्टाचार्य?

समिक भट्टाचार्य पार्टी के सबसे वरिष्ठ नेताओं में गिने जाते हैं. उनके पास वर्षों का जमीनी अनुभव है और वे सीमावर्ती इलाकों की डेमोग्राफी को अच्छी तरह समझते हैं. वे बसीरहाट साउथ से आते हैं, जो एक संवेदनशील बॉर्डर इलाका है. 2026 बंगाल चुनाव में जब भाजपा बांग्लादेशी घुसपैठ और जनसंख्या असंतुलन जैसे मुद्दे उठाने जा रही है, तब उनकी भूमिका काफी महत्‍वपूर्ण होने वाली है. वह ममता बनर्जी के ल‍िए टेंशन बन सकते हैं.

बीजेपी का गेम प्‍लान क्‍या

1. भद्रलोक को साधना: राजारहाट, कोलकाता और दुर्गापुर जैसे भद्रलोक बेल्ट में समिक भट्टाचार्य जैसे सॉफ्ट-हिंदुत्व चेहरों को सामने लाना.
2. जनसांख्यिकीय बदलाव को मुद्दा बनाना: बांग्लादेशी घुसपैठ, सीमावर्ती इलाकों में जनसंख्या असंतुलन और वोट बैंक की राजनीति को उजागर करना.
3. आरएसएस की फील्ड एंट्री: संघ की पूरी ताकत बूथ स्तर तक सक्रिय करना, खासकर उन इलाकों में जहां बीजेपी पिछली बार कमजोर रहीः
4. सुवेंदु-समिक कॉम्बिनेशन: एक तरफ आक्रामक नेता सुवेंदु अधिकारी, दूसरी तरफ संतुलित चेहरा समिक – दोनों के तालमेल से पार्टी को संतुलन देना.
5. तृणमूल सरकार के भ्रष्टाचार पर फोकस: शिक्षा, नौकरी, पंचायत घोटालों और महिलाओं की सुरक्षा जैसे मामलों को लेकर ममता सरकार पर सीधा हमला.

कोई दूसरा नाम नहीं…
समिक भट्टाचार्य पार्टी के सीनियर और युवा दोनों वर्गों में स्वीकार्य हैं. सुवेंदु अधिकारी और सुकांत मजूमदार जैसे नेता उनकी जमकर पैरवी कर रहे हैं. खास बात यह है कि सुवेंदु अधिकारी से उनकी व्यक्तिगत और राजनीतिक नजदीकी भी गहरी है. इसके अलावा, समिक भट्टाचार्य की संघ पृष्ठभूमि उन्हें पार्टी की वैचारिक संरचना में और मजबूत बनाती है. सूत्रों के मुताबिक, इस बार कोई दूसरा नाम विचाराधीन नहीं है. बंगाल में भाजपा की अगली रणनीतिक कप्तानी समिक भट्टाचार्य को ही सौंपी जाएगी.

Gyanendra Mishra

Mr. Gyanendra Kumar Mishra is associated with hindi.news18.com. working on home page. He has 20 yrs of rich experience in journalism. He Started his career with Amar Ujala then worked for 'Hindustan Times Group...और पढ़ें

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