Last Updated:April 29, 2025, 13:37 IST
Chardham Rail Project : भारतीय रेलवे ने चारधाम यात्रा को सरल बनाने के लिए 351 किलोमीटर का रेलवे ट्रैक बिछाने का काम शुरू कर दिया है. इसमें से काफी काम पूरा भी हो चुका है. सबसे मुश्किल काम टनल बनाना है, जो पूरा ...और पढ़ें

ऋषिकेश से कर्णप्रयाग तक रेलवे की लाइन लगभग पूरी हो चुकी है.
हाइलाइट्स
चारधाम रेल प्रोजेक्ट में 351 किमी का ट्रैक बनेगा.125 किमी ट्रैक में 105 किमी सुरंग से गुजरेगा.यात्रा का समय 10 घंटे से घटकर 4 घंटे होगा.नई दिल्ली. भारतीय रेलवे एक और मील का पत्थर जल्द ही पूरा करने वाला है. कटरा से कश्मीर तक रेल लाइन बिछाने के बाद अब रेलवे पहाड़ों में एक और बड़ा प्रोजेक्ट पूरा करने की तरफ बढ़ रहा है. पहाड़ों के बीच इस रेलवे लाइन को बिछाने में कई मुश्किलों का सामना करना पड़ा, लेकिन रेलवे ने सभी मुश्किलों को पार करते हुए कई पड़ाव पूरे कर लिए हैं. करीब 230 किलोमीटर लंबे इस रेलवे ट्रैक का 125 किलोमीटर हिस्सा काफी दुर्गम रहा है, क्योंकि इसमें से 105 किलोमीटर का रास्ता टनल से गुजरता है.
खबर है कि 2 मई से केदारनाथ और 4 मई को बद्रीनाथ के कपाट खुल जाएंगे. इसके साथ ही चारधाम यात्रा भी शुरू हो जाएगी. अभी इस यात्रा को पूरा करना काफी कठिन काम माना जाता है. ऋषिकेश से केदारनाथ तक की दूरी अभी 229 किलोमीटर है और इस दूरी को बस या दुर्गम सड़क मार्ग से ही पूरा किया जा सकता है. अभी इस दूरी को कम करने में करीब 8 से 10 घंटे लग जाते हैं. रेलवे का यह प्रोजेक्ट पूरा होने के बाद इस दूरी को तय करने में सिर्फ 3 से 4 घंटे ही लगेंगे.
ऋषिकेश से कहां तक बन रहा ट्रैक
रेलवे इस पूरे ट्रैक को 351 किलोमीटर का बना रहा है. इस पूरे ट्रैक को 4 भाग में बांटा गया है. पहला है ऋषिकेश से मनेरी गंगोत्री तक 131 किलोमीटर का रेलवे ट्रैक. इसके बाद मनेरी से यमुनोत्री तक दूसरा ट्रैक 46 किलोमीटर का रहेगा. तीसरा ट्रैक कर्णप्रयाग से सोनप्रयाग तक 99 किलोमीटर का होगा और इसका चौथा ट्रैक 75 किलोमीटर का सालकोट से जोशीमठ तक रहेगा. इस तरह, रेलवे इस पूरे ट्रैक को 4 भाग में मिलाकर 351 किलोमीटर पूरा करेगा.
17 सुरंगें पार करेगी ट्रेन
ऋषिकेश से चारधाम के रास्ते में रेलवे कुल 17 सुरंगें भी बनाएगा और इसका काम भी काफी हद तक पूरा हो गया. इस पूरे ट्रैक पर 27 स्टेशन बनाए जाएंगे और 35 से ज्यादा पुल का भी निर्माण किया जाएगा. इसमें से 10 स्टेशन सुरंग के अंदर बनाए जाएंगे और कर्णप्रयाग तक बनाए जाने वाले 12 स्टेशन में से सिर्फ 2 ही जमीन से ऊपर बनाए जाएंगे. कर्णप्रयाग के तक के 125 किलोमीटर की रेल लाइन में से 105 किमी का हिस्सा टनल यानी अंडरग्राउंड होगा.
कितना बड़ा है प्रोजेक्ट
रेलवे इस प्रोजेक्ट पर करीब 74 हजार करोड़ रुपये खर्च करने वाली है. इसमें से 70 फीसदी काम पूरा हो चुका है. रेलवे का मानना है कि यह प्रोजेक्ट पूरा होने के बाद ऋषिकेश से महज 4 घंटे में ही कर्णप्रयाग और 6 घंटे में जोशीमठ तक पहुंचा जा सकेगा. जहां से केदारनाथ की दूरी काफी कम रह जाएगी. रेलवे के इस प्रोजेक्ट के साथ ही केदारनाथ तक रेपवे भी बनाया जा रहा है.
Location :
New Delhi,Delhi
First Published :
April 29, 2025, 13:37 IST